
US ने चीन से छीना 'विकासशील देश' का दर्जा, जानिए क्या होगा असर, क्या अगला नंबर भारत का?
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अमेरिकी सीनेट ने चीन को आर्थिक रूप से जोरदार झटका दिया है. अमेरिका ने चीन से 'विकाशील देश' के स्टेटस को हटाने के लिए कानून पास किए हैं. अमेरिकी सीनेट का मनाना है कि चीन को अब वो सारी रियायतें नहीं दी जा सकती हैं, जो विकाशील देशों को मिलती हैं.
अमेरिका (USA) ने चीन (China) को आर्थिक (Economic) मोर्चे पर जोरदार झटका दिया है. अमेरिकी सीनेट ने एक नए कानून को मंजूरी दी, जिसके तहत चीन को अमेरिका अब विकाशील देश (Developing Country) का दर्जा नहीं देगा. अमेरिका के इस कदम से चीन पर भारी असर पड़ेगा. चीन को अब विश्व बैंक और अन्य वित्तीय संस्थानों से उसे आसानी से और कम ब्याज दर पर लोन नहीं मिल पाएगा. विकासशील देश के स्टेटस की वजह से चीन को आसानी से सस्ता कर्ज मिल जाता था. लेकिन फिर चीन दुनिया के गरीब देशों को महंगे कर्ज देकर अपने कर्ज की जाल में फंसा लेता था.
विकसित अर्थव्यवस्था का स्टेटस
अमेरकी सीनेट से मिली कानून की मंजूरी के बाद अब अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन की कोशिश विश्व व्यापार संगठन (WTO) जैसे बहुपक्षीय संगठनों (Multilateral Organizations) को चीन की इकोनॉमी को 'विकसित अर्थव्यवस्था' का स्टेटस देने के लिए तैयार करने की होगी. अमेरिकी सीनेट की फॉरेन रिलेशन कमेटी की पहल पर चीन से डेवलपिंग कंट्री का स्टेटस छीना गया है. चीन अमेरिका के इस कदम को एशियाई देश के विकास को दबाने की साजिश के रूप में देख रहा है.
क्यों छीना गया स्टेटस?
सीनेट ने मानना कि चीन को अब वो सारी सुविधाएं नहीं दी जा सकती है, जो विकासशील देशों को मिलती हैं. चीन की अर्थव्यवस्था 20 ट्रिलियन डॉलर की है और उसने दुनिया के कई देशों में अरबों डॉलर का निवेश किया है. इस वजह से अब चीन को डेवलपिंग कंट्री वाली तमाम रियायतें नहीं मिलेंगी. क्योंकि चीन विकासशील देश के स्टेटस का गलत इस्तेमाल कर रहा था.
चीन ने गरीब देशों को कर्ज के जाल में फंसाया

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