DNA ANALYSIS: हाई कोर्ट का वो फैसला जिसकी वजह से इंदिरा गांधी को देना पड़ता इस्तीफा और नहीं लगती इमरजेंसी
Zee News
Emergency in India: आज से हम इमरजेंसी पर एक नई सीरीज शुरू कर रहे हैं. आज हम आपको इसके पहले भाग में ये बताएंगे कि भारत में इमरजेंसी कैसे लगी थी? और कैसे इंदिरा गांधी ने नेहरू गांधी खानदान की विरासत को बचाने के लिए संवैधानिक व्यवस्था को भी नष्ट कर दिया.
नई दिल्ली: अनुच्छेद 370 की ऐतिहासिक भूल के बाद आज हम एक और ऐतिहासिक भूल के बारे में आपसे बात करेंगे और वो है, 25 जून 1975 को भारत में लगी इमरजेंसी. आज से हम इमरजेंसी पर एक नई सीरीज शुरू कर रहे हैं, जिसमें हम आपको बताएंगे कि उस समय की प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने अपनी सत्ता को बचाने के लिए ऐसी कोई तरकीब नहीं छोड़ी, जिससे भले ही देश का कितना भी बड़ा नुकसान हो जाए, लेकिन नेहरू गांधी खानदान हमेशा सत्ता में बना रहना चाहिए. जज पर दबाव डालने से लेकर न्यायपालिका को प्रलोभन देने तक, CID के दुरुपयोग से लेकर जे.पी. की पटना से दिल्ली की फ्लाइट रद्द कराने तक और मीडिया और फिल्म जगत के दमन से लेकर, कांग्रेस के अंदरुनी लोकतंत्र को खत्म करने तक इंदिरा गांधी ने सत्ता में बने रहने के लिए हर तरीका अपनाया. ये भारत के लोकतंत्र का एक टर्निंग पॉइंट भी था और सबसे काला अध्याय भी था. आपमें से ज्यादातर लोग इसे भूल चुके होंगे इसलिए आज हम अपनी इस सीरीज के पहले भाग में आपको इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना का रिविजन कराएंगे.More Related News
Kailash Gahlot: आम आदमी पार्टी को दिल्ली में बड़ा झटका लगा है. अगले साल की शुरुआत में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी के प्रमुख जाट नेता और मंत्री कैलाश गहलोत ने इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने आप के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल को पत्र लिखकर अपने इस्तीफे की वजह बताई है. जानें कौन हैं कैलाश गहलोत?