![सिर्फ आरोपों के आधार पर ग्वांतानामो जेल में 20 साल बंद रहे 2 पाकिस्तानी, अब US ने किया रिहा](https://akm-img-a-in.tosshub.com/aajtak/images/story/202302/rababaanai-sixteen_nine.jpeg)
सिर्फ आरोपों के आधार पर ग्वांतानामो जेल में 20 साल बंद रहे 2 पाकिस्तानी, अब US ने किया रिहा
AajTak
पाकिस्तान के इन दोनों भाइयों को अलकायदा को मदद पहुंचाने के आरोप में 2002 में कराची से गिरफ्तार किया गया था. बाद में इन्हें अमेरिकी प्रशासन को सौंप दिया गया. इसके बाद से ही ये क्यूबा की ग्वांतानामो बे जेल में बंद हैं. ग्वांतानामो जेल को 11 सितंबर 2001 हमले के बाद जॉर्ज डब्ल्यू बुश सरकार के निर्देश पर बनाया गया था.
क्यूबा के ग्वांतानामो बे जेल में 20 सालों से बंद पाकिस्तान के दो भाइयों को अमेरिका ने उनके मुल्क भेज दिया है. इन भाइयों का नाम अब्दुल रब्बानी और मोहम्मद रब्बानी है, जिन्हें अलकायदा को मदद पहुंचाने के आरोप में 2002 में कराची में गिरफ्तार किया गया था. इन दोनों भाइयों को बिना आरोपों के 20 सालों तक ग्वांतानामो जेल में रखा गया था.
2002 में कराची से गिरफ्तार किए गए रब्बानी बंधुओं को बाद में अमेरिकी सरकार को सौंप दिया गया था. इन दोनों पर अलकायदा आतंकियों को अपने घर में पनाह देने और उनकी मदद का आरोप लगाया था. इन दोनों ने ग्वांतानामा भेजे जाने से पहले सीआईए की हिरासत में प्रताड़ित किए जाने का आरोप लगाया था.
पेंटागन की ओर से जारी बयान में कहा गया कि अमेरिका ग्वांतानामो जेल में बंद कैदियों की संख्या को घटाने और आखिरकार इस जेल को बंद करने के उसके उद्देश्यों को पूरा करने में पाकिस्तानी सराकर और अन्य देशों के प्रयासों की सराहना करते हैं.
रिपोर्ट्स के मुताबिक, रब्बानी बंधु ग्वांतानामो जेल से रिहा होकर पाकिस्तान पहुंच गए हैं.
बता दें कि क्यूबा की ग्वांतानामो बे जेल को 11 सितंबर 2001 हमले के बाद जॉर्ज डब्ल्यू बुश सरकार के निर्देश पर 2002 में बनाया गया था. इन दोनों भाइयों को पाकिस्तान भेजे जाने के बाद ग्वांतानामो बे में अब 32 कैदी हैं, जिनमें से 18 को उनके देश भेजा जाना है.
जो बाइडेन ने जब 2021 में राष्ट्रपति पद की शपथ ली थी. उस समय ग्वांतानामो बे में 40 कैदी थी. उस समय बाइडेन ने कहा था कि उन्हें उम्मीद है कि यह जेल जल्द बंद हो जाएगी. इस बीच गुरुवार को पेंटागन ने पाकिस्तान के दो भाइयों अब्दुल रब्बानी और मोहम्मद रब्बानी को वतन भेज दिया गया. दोनों को 2002 में गिरफ्तार किया गया था. दोनों भाइयों पर अलकायदा की मदद करने का आरोप लगाया गया था.
![](/newspic/picid-1269750-20250206024625.jpg)
बांग्लादेश में आवामी लीग के प्रदर्शन से एक दिन पहले हिंसक झड़पें हुईं. ढाका के धनमंडी इलाके में बंगबंधु शेख मुजीबुर्रहमान के घर पर हमला किया गया. प्रदर्शनकारियों ने तोड़फोड़ की और घर को आग के हवाले करने का प्रयास किया. बुलडोजर से भी हमला किया गया. इस बीच हजारों आवामी लीग समर्थकों और नेताओं को गिरफ्तार किया गया. VIDEO
![](/newspic/picid-1269750-20250206003238.jpg)
इस हमले के बाद शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग ने बयान जारी कर देश के अंतरिम युनूस सरकार पर निशाना साधा और राज्य मशीनरी का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया. अवामी लीग ने बयान में कहा, जब से अवैध, असंवैधानिक और फासीवादी यूनुस सरकार ने राज्य की सत्ता पर कब्ज़ा किया है, तब से उसने अपने लाभ के लिए राज्य मशीनरी पर कब्जा कर लिया है.
![](/newspic/picid-1269750-20250205124418.jpg)
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू अमेरिका के दौरे पर हैं. इस बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने उन रिपोर्ट् का खंडन किया है जिनमें कहा जा रहा है कि अमेरिका 'ईरान के टुकड़े-टुकड़े करने के लिए' इजरायल के साथ मिलकर काम कर रहा है. दावों को खारिज करते हुए ट्रंप ने कहा कि ऐसी अटकलें 'बहुत बढ़ा-चढ़ाकर पेश की गई' हैं.
![](/newspic/picid-1269750-20250205121857.jpg)
कहा जाता है कि मिलर का व्हाइट हाउस में बड़ा रुतबा है. वह अब राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार और नीतिगत मामलों के डिप्टी डायरेक्टर हैं. ट्रंप ने जब कार्यकारी आदेशों पर हस्ताक्षर किए थे तब वहां मिलर भी मौजूद थे. बता दें कि इस आदेश में ट्रंप ने जन्मसिद्ध नागरिकता को खत्म करने और मैक्सिको सीमा पर सख्ती करने समेत कई फैसले लिए थे.