'मिडिल ईस्ट में युद्ध से बचना चाहिए...', बाइडेन बोले- नेतन्याहू से करेंगे बात
AajTak
वाशिंगटन के लिए एयर फोर्स वन में सवार होने के दौरान बाइडेन ने संवाददाताओं से कहा कि ऐसा होना ही चाहिए. हमें युद्ध से बचना होगा. राष्ट्रपति बाइडेन का ये बयान ऐसे समय में आया है, जब रविवार को लेबनान में इजरायली हवाई हमलों में दर्जनों लोग मारे गए. बाइडेन ने इस बात का जिक्र नहीं किया कि वह नेतन्याहू से कब बात करेंगे. उन्होंने कहा कि जब मैं उनसे बात करूंगा, तो आपको बताऊंगा कि मैं उनसे क्या कहूंगा.
इजरायल और लेबनान एक-दूसरे पर अटैक कर रहे हैं. इसी बीच अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा कि वह इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से बात करेंगे. साथ ही कहा कि मिडिल ईस्ट में पूर्ण युद्ध से बचना चाहिए.
एसोसिएट प्रेस (AP) के मुताबिक वाशिंगटन के लिए एयर फोर्स वन में सवार होने के दौरान बाइडेन ने संवाददाताओं से कहा कि ऐसा होना ही चाहिए. हमें युद्ध से बचना होगा. राष्ट्रपति बाइडेन का ये बयान ऐसे समय में आया है, जब रविवार को लेबनान में इजरायली हवाई हमलों में दर्जनों लोग मारे गए.
बाइडेन ने इस बात का जिक्र नहीं किया कि वह नेतन्याहू से कब बात करेंगे. उन्होंने कहा कि जब मैं उनसे बात करूंगा, तो आपको बताऊंगा कि मैं उनसे क्या कहूंगा. यह पूछे जाने पर कि क्या मिडिल ईस्ट में पूर्ण युद्ध से बचा जा सकता है, उन्होंने जवाब दिया कि इसे टाला जाना चाहिए. हमें वास्तव में इससे बचना होगा. बता दें कि दोनों पक्षों के हजारों नागरिकों के विस्थापित होने के बाद बाइडेन प्रशासन ने बातचीत के जरिए समाधान निकालने की कोशिश की है, जिससे वे लोग घर लौट सकें जो दर-ब-दर भटक रहे हैं और युद्ध को रोका जा सके.
इससे पहले व्हाइट हाउस के राष्ट्रीय सुरक्षा प्रवक्ता जॉन किर्बी ने कहा कि इजरायल ने हवाई हमलों की बौछार करके हिज्बुल्लाह के कमांड ढांचे को "खत्म" कर दिया है, जिसमें हिज्बुल्लाह नेता हसन नसरल्लाह और समूह के कई नेता मारे गए हैं. किर्बी ने नसरल्लाह की हत्या का जिक्र करते हुए कहा कि मुझे लगता है कि लोग उसके बिना सुरक्षित हैं. लेकिन वे फिर से उभरने की कोशिश करेंगे. हम देख रहे हैं कि वे नेतृत्व की इस कमी को भरने के लिए क्या करते हैं.
व्हाइट हाउस इजरायल और हिजबुल्लाह से 21 दिन के अस्थायी संघर्ष विराम पर सहमत होने का आह्वान करता रहा है, जिसे पिछले सप्ताह यूएस, फ्रांस और अन्य देशों ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के लिए विश्व नेताओं के एकत्र होने पर पेश किया था. किर्बी ने कहा कि अगर आप उन लोगों को सुरक्षित और स्थायी रूप से घर वापस लाना चाहते हैं, तो हमारा मानना है कि कूटनीतिक रास्ता सही रास्ता है.
दरअसल, शुक्रवार को बेरूत में एक बड़े हवाई हमले में मारे गए हिज्बुल्लाह नेता हसन नसरल्लाह की मौत के बाद हिज्बुल्लाह ने इजरायल में रॉकेटों की बौछारें की हैं. जबकि ईरान ने कहा कि नसरल्लाह की मौत का बदला लिया जाएगा.
क्या इजरायल के निशाने पर पाकिस्तान है? क्या पाकिस्तान के एटमी हथियारों को इजरायल तबाह करने का प्लान बना रहा है? क्या पाकिस्तान पर अमेरिकी बैन के पीछे इजरायल है? हमारा पड़ोसी देश भारत के अलावा अब इजरायल के खौफ में जीने को मजबूर है. पाकिस्तान को लग रहा है कि ईरान में सरकार बदलने के बाद पाकिस्तान के परमाणु हथियारों को निशाना बनाया जाएगा. देखें वीडियो.
क्या इजरायल के निशाने पर पाकिस्तान है. क्या पाकिस्तान के एटमी हथियारों को इजरायल तबाह करने का प्लान बना रहा है. क्या पाकिस्तान पर अमेरिकी बैन के पीछे इजरायल है? हमारा पड़ोसी देश भारत के अलावा अब इजरायल के खौफ में जीने को मजबूर है. पाकिस्तान को ऐसा क्यों लग रहा है कि पाकिस्तान के परमाणु हथियारों को निशाना बनाया जाएगा? देखें.
हिंसक प्रदर्शनों के बीच अगस्त में शेख हसीना की सरकार गिर गई, और उन्होंने भारत में शरण ली. फिलहाल बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस सरकार है, जो देश पर हसीना को लौटाने का दबाव बना रही है. हाल में एक बार फिर वहां के विदेश मंत्रालय ने राजनयिक नोट भेजते हुए पूर्व पीएम की वापसी की मांग की. भारत के पास अब क्या विकल्प हैं?