
बिहार में विकास या जंगलराज? NDA-महागठबंधन आमने-सामने
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बिहार चुनाव को लेकर सियासी बयानबाजी तेज हो गई है. नीतीश कुमार के 20 साल के शासन पर सवाल उठ गए हैं. पलायन, बेरोजगारी और गरीबी जैसे मुद्दों पर तीखी बहस जारी है. तेजस्वी यादव के 17 महीने के कार्यकाल की भी तुलना हुई है. विकास बनाम जंगलराज का मुद्दा भी छाया रहा. बिहार की जनता के सामने बड़ा सवाल- किसे चुनें?

पवन कल्याण की टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार और डीएमके शासित तमिलनाडु के बीच नई शिक्षा नीति के एक हिस्से 'तीन-भाषा फार्मूले' को लेकर तीखी नोकझोंक चल रही है. उनके इस बयान पर डीएमके और अभिनेता प्रकाश राज ने पलटवार किया. प्रकाश राज ने कहा कि यह दूसरी भाषा से नफरत नहीं बल्कि हमारी मातृभाषा और हमारी सांस्कृतिक पहचान बचाने के बारे में है.

अररिया के बाद मुंगेर में ASI की हत्या हैरान करने वाली है. ASI संतोष कुमार दो पक्षों का झगड़ा सुलझाने पहुंचे थे, लेकिन एक पक्ष के लोगों ने उन पर हमला कर दिया. हमलावरों ने ASI पर रॉड से कई वार किए. फिर गंभीर रूप से जख्मी हालत में उन्हें मौका-ए-वारदात से करीब 40 मीटर तक घसीट कर किसी दूसरे के दरवाजे पर फेंक दिया और फरार हो गए.

पप्पू यादव ने कहा कि नीतीश कुमार अस्वस्थ जरूर हैं, लेकिन वह अभी भी बिहार की राजनीति में प्रासंगिक हैं. बीजेपी अकेले चुनाव लड़कर देख ले तो पता चल जाएगा. INDIA गठबंधन कांग्रेस के बिना चुनाव लड़कर देख ले. जो आदमी संघर्ष नहीं करता है, बिहार को नहीं जानता है वह कैसे चुनाव लड़ेगा. अरविंद केजरीवाल बिना संघर्ष करके आए और मार्केटिंग की. लोगों को बड़े-बड़े सपने दिखाए और अब गायब हो गए.