दिल्लीः यूज्ड सर्जिकल ग्लव्स को धोकर दोबारा बेच देते थे, पुलिस ने ऐसे किया गिरफ्तार
AajTak
दिल्ली पुलिस ने उन 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया है जो इस्तेमाल किए गए सर्जिकल ग्लव्स को धोकर दोबारा मार्केट में बेच दिया करते थे. आरोपियों के पास से पुलिस ने एक क्विंटल ग्लव्स भी बरामद किए हैं.
राजधानी दिल्ली में पुलिस ने इस्तेमाल किए गए सर्जिकल ग्लव्स को दोबारा धोकर बेचने वाली दो फैक्ट्रियों को भंडाफोड़ किया है. इस मामले में पुलिस ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. पुलिस को जानकारी मिली थी कि फैक्ट्रियों में इस्तेमाल कर फेंके गए सर्जिकल ग्लव्स को धोकर दोबारा से मार्केट में बेचा जा रहा है, जिसके बाद पुलिस ने रेकी कर आरोपियों को पकड़ा. आरोपियों के पास से पुलिस को भारी मात्रा में ग्लव्स भी मिले हैं. दरअसल, पुलिस को जानकारी मिली थी कि बिंदापुर और डाबड़ी इलाके में दो अलग-अलग गोदाम में पहले से इस्तेमाल किए जा चुके सर्जिकल ग्लव्स को धोकर दोबारा से पैकिंग की जा रही है और बाद में इन्हें मार्केट में बेच दिया जा रहा है. इस्तेमाल किए हुए सर्जिकल ग्लव्स को दोबारा नए तरीके से बाजार में बेचने की जानकारी मिली तो पुलिस की टीम ने इस फैक्टरी पर पहले रेकी की और फिर आरोपियों को गिरफ्तार किया.महाराष्ट्र के ठाणे में एक बच्ची का शव मिलने के बाद लोग आक्रोशित हो गए. दरअसल उल्हासनगर इलाके में तीन दिनों पहले एक बच्ची लापता हो गई थी जिसके बाद परिजनों ने थाने में गायब होने की रिपोर्ट भी दर्ज कराई थी. इसी के बाद गुरुवार को उसका शव हिल लाइन पुलिस स्टेशन से कुछ दूरी पर मिला जिसे देखकर स्थानीय लोग भड़क गए.
गौतम अडानी पर आरोप है कि उन्होंने अमेरिका के निवेशकों के पैसे से भारत में सरकारी अधिकारियों को रिश्वत दी और ये रिश्वत भी उन प्रोजेक्ट्स के लिए दी गई, जिससे 20 वर्षों में अडानी ग्रुप की एक कम्पनी को 2 बिलियन अमेरिकी डॉलर्स यानी भारतीय रुपयों में लगभग 16 हज़ार 881 करोड़ रुपये का मुनाफा होने का अनुमान है. आरोप है कि इस मुनाफे के लिए साल 2021 से 2022 के बीच आंध्र प्रदेश, ओडिशा, जम्मू-कश्मीर, तमिलनाडु और छत्तीसगढ़ की सरकारों को लगभग 2200 करोड़ रुपये की रिश्वत दी गई.
गौतम अडानी एक बार फिर चर्चा में हैं क्योंकि उन पर सोलर एनर्जी प्रोजेक्ट्स के ठेके पाने के लिए भारतीय अधिकारियों को करोड़ों रुपये की रिश्वत देने का आरोप है. इस मामले पर NSUI ने भी प्रदर्शन किया है. इस मुद्दे ने राजनीतिक और व्यावसायिक जगत में खलबली मचा दी है, जिसमें भ्रष्टाचार और व्यापारिक नैतिकता के सवाल शामिल हैं.