Rajasthan: गैस लीकेज से सिलेंडर में आग, जलती मां को बचाने में 2 बच्चे भी झुलसे... दहशत में 2 साल की बच्ची की मौत
AajTak
Rajasthan News: जोधपुर में गैस सिलेंडर की लीकेज पाइप के आग पकड़ने से हादसा हुआ है. जिससे दो साल की मासूम बच्ची की दहशत से मौत हो गई. साथ ही परिवार के चार अन्य सदस्य गंभीर रूप से झुलस गए.
Rajasthan News: राजस्थान के जोधपुर जिले में रसोई गैस लीकेज होने से हादसा हुआ है. यह हादसा लूणी उपखंड इलाके के डोली गांव में गैस सिलेंडर की लीकेज पाइप के आग पकड़ने से हुआ. जिससे दो साल की मासूम बच्ची की दहशत से मौत हो गई. साथ ही परिवार के चार अन्य सदस्य गंभीर रूप से झुलस गए. उनका महात्मा गांधी अस्पताल की बर्न यूनिट में इलाज चल रहा है.
चिंता की बात यह है कि घटना के बाद परिजन घायल लोगों को अस्पताल ले आने के बजाय पहले झाड़ फूंक करवाने के लिए ले गए, जिसके चलते 24 घंटे बाद अस्पताल में इलाज शुरू हो सका है.
दरअसल, सोमवार शाम को बाबूलाल पटेल की पत्नी भंवरी देवी खाना बना रही थीं. तभी गैस लीकेज की वजह से सिलेंडर की पाइप लाइन ने आग पकड़ ली. सिलेंडर से आग लग गई, जिससे आग की चपेट में भंवरी देवी आ गईं. मां को आग से घिरा देख उसके 2 बच्चे बचाने के लिए दौड़े तो वो भी आग की चपेट में आ गए. पत्नी और बच्चों को बचाने के लिए बाबूलाल भी आए.
बेटी भाविका ने मां को जलते हुए देखा तो उसकी दहशत से मौत हो गईं. आस-पास के लोगों ने पानी डाल कर आग बुझाई. जब झुलसे हुए परिवारजनों की तबीयत ज्यादा बिगड़ी तो मंगलवार रात को एमजीएच पहुंचे, जिसके बाद बर्न यूनिट में उनका इलाज शुरू हुआ.
घटना के बाद उपखंड अधिकारी गोपाल परिहार ने मौका मुआयना भी किया. उन्होंने बाबूलाल को आर्थिक सहायता दिलाने की मांग की है. फिलहाल, एमजीएच में बाबूलाल पटेल उनकी पत्नी भंवरी देवी और दो बच्चों का इलाज चल रहा है.
झंवर थाना अधिकारी मनोज ने बताया कि सोमवार शाम गैस लीकेज की आग लगने से बाबूलाल, उसकी पत्नी और दो बच्चे झुलस गए. तब परिवार के लोग झुलसे हुए लोगों को गंगाना में भोमियाजी के मंदिर झाड़ फूंक के लिए लेकर पहुंचे. लेकिन मंगलवार शाम को जब घायलों की तबीयत ज्यादा खराब हुई तो उनको महात्मा गांधी हॉस्पिटल में भर्ती करवाया गया. जहां बाबूलाल, उसकी पत्नी और दो बच्चों का इलाज चल रहा है.
मणिपुर हिंसा को लेकर देश के पूर्व गृहमंत्री पी चिदंबरम खुद अपनी पार्टी में ही घिर गए हैं. उन्होंने मणिपुर हिंसा को लेकर एक ट्वीट किया था. स्थानीय कांग्रेस इकाई के विरोध के चलते उन्हें ट्वीट भी डिलीट करना पड़ा. आइये देखते हैं कि कांग्रेस का केंद्रीय नेतृत्व क्या मणिपुर की हालिया परिस्थितियों को समझ नहीं पा रहा है?
महाराष्ट्र में तमाम सियासत के बीच जनता ने अपना फैसला ईवीएम मशीन में कैद कर दिया है. कौन महाराष्ट्र का नया मुख्यमंत्री होगा इसका फैसला जल्द होगा. लेकिन गुरुवार की वोटिंग को लेकर सबसे ज्यादा चर्चा जनता के बीच चुनाव को लेकर उत्साह की है. जहां वोंटिग प्रतिशत में कई साल के रिकॉर्ड टूट गए. अब ये शिंदे सरकार का समर्थन है या फिर सरकार के खिलाफ नाराजगी.