FY24 का हाल, चाय की चुस्की महंगी... दाल-चावल महंगे, लेकिन LPG और पेट्रोल-डीजल सस्ते!
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अधिकतर लोगों के दिन की शुरुआत सुबह की चाय के साथ होती है. इसे बनाने के लिए जिन दो सामानों का सबसे ज्यादा योगादन रहता है वो हैं दूध और चीनी. दूध और चीनी दोनों की कीमतों में पिछले वित्त वर्ष के दौरान इजाफा हुआ है.
वित्त वर्ष 2023-24 खत्म हो गया है. बीता साल महंगाई के मामले में लोगों को कई जगह राहत तो कहीं-कहीं पर आफत देकर गया है. इन 12 महीनों में खाद्य पदार्थों की महंगाई ने लोगों की मुश्किल बढ़ाई तो पेट्रोल-डीजल-गैस के दाम ने लोगों की परेशानी को कम किया है. इस दौरान कई सामान महंगे हुए हैं तो कुछ के दाम कम हो गए हैं. सुबह की चाय से लेकर शाम के डिनर तक आपकी दिनचर्या में पिछले साल की महंगाई और दाम में गिरावट ने कैसे असर डाला है... ये विस्तार से जानते हैं.
दूध-चीनी हुईं महंगी भारत में अधिकतर लोगों के दिन की शुरुआत सुबह की चाय के साथ होती है. इसे बनाने के लिए जिन दो सामानों का सबसे ज्यादा योगादन रहता है वो हैं दूध और चीनी. चाय के ये संगी साथी भी बीते साल महंगाई के असर से नहीं बच पाए. दूध और चीनी दोनों की कीमतों में पिछले वित्त वर्ष के दौरान इजाफा हुआ है और इनके दाम 3-3 रुपये बढ़े हैं. 1 अप्रैल 2023 को दूध का दाम जहां 56 रुपये प्रति लीटर था वहीं अब ये 3 रुपये बढ़कर 59 रुपए प्रति लीटर हो गई है. इसी तरह चीनी का दाम भी 41 रुपये प्रति किलो से 3 रुपये बढ़कर 44 रुपये प्रति किलो हो गई है.
सस्ते हुए कॉमर्शियल-घरेलू गैस सिलेंडर चाय बनाना वैसे ज्यादा महंगा हो सकता था अगर LPG सिलेंडर के दाम भी पिछले साल बढ़ गए होते. लेकिन बीते वित्त वर्ष में कॉमर्शियल और घरेलू गैस सिलेंडर की कीमतों में गिरावट का फायदा लोगों को मिला है. घरेलू गैस सिलेंडर भी बीते 12 महीनों में 300 रुपये सस्ता हुआ है. 1 अप्रैल 2023 को जहां घरेलू गैस सिलेंडर की कीमत 1103 रुपये थी वहीं, 1 अप्रैल 2024 को घरेलू गैस सिलेंडर का दाम घटकर 803 रुपये हो गया है. इसी तरह 1 अप्रैल 2023 को दिल्ली में कॉमर्शियल गैस सिलेंडर की कीमत 2,028 रुपये थी तो 1 अप्रैल 2024 को देश की राजधानी में कॉमर्शियल गैस सिलेंडर घटकर 1795 रुपये पर आ गया है. यानी कॉमर्शियल गैस सिलेंडर की कीमतों में 1 साल के दौरान 233 रुपये की कटौती हुई है.
सस्ते हुए पेट्रोल-डीजल चाय-नाश्ता करने के बाद दफ्तर या काम से हर किसी को बाहर निकलना होता है. इसके लिए कार का इस्तेमाल ज्यादातर लोग करते हैं. इस कार की खुराक यानी पेट्रोल-डीजल की महंगाई ने बीते साल लोगों को मामूली राहत दी है. रूस-यूक्रेन युद्ध के बाद पेट्रोल-डीजल की महंगाई ने 2022 में लोगों को काफी परेशान किया था. लेकिन फिर मई 2022 में सरकार ने एक्साइज ड्यूटी घटाकर लोगों को इनके महंगे दाम से राहत दिलाने की कोशिश की थी. इसके बाद लंबे समय तक पेट्रोल-डीजल के दाम स्थिर रहे, लेकिन बीते कारोबारी साल की विदाई से पहले एक बार फिर पेट्रोल-डीजल के दाम में लोगों को मामूली राहत मिली है. 1 अप्रैल 2023 को जहां दिल्ली में एक लीटर पेट्रोल का दाम 96 रुपये था वहीं, 1 अप्रैल 2024 को देश की राजधानी में पेट्रोल की कीमत 94 रुपये प्रति लीटर थी. 15 मार्च को पेट्रोलियम कंपनियों ने पेट्रोल की कीमतों में 2 रुपये प्रति लीटर और डीजल के दाम में भी 2 रुपये प्रति लीटर की कटौती की थी. इसके बाद दिल्ली में डीजल की कीमत 87 रुपये प्रति लीटर हो गई है जबकि 1 अप्रैल 2023 को डीजल 89 रुपये प्रति लीटर में मिल रहा था.
महंगे हुए दाल-चावल लेकिन बीते साल महंगाई ने लंच करना जेब पर थोड़ा भारी बना दिया है. 2023-24 खाद्य पदार्थों की महंगाई बढ़ाने वाला साल साबित हुआ है. इस दौरान सब्जियों की कीमतों ने भी रिकॉर्ड तोड़ने में कोई कसर नहीं छोड़ी. वहीं दाल-चावल की महंगाई भी लोगों की जेब में सुराख करने का काम करती रही. 1 अप्रैल 2023 को तुअर दाल की कीमत 115 रुपये प्रति किलो थी, जो 31 मार्च 2024 को 33 रुपये बढ़कर 148 रुपये प्रति किलो पर पहुंच गई. इस दाल के साथ मिलाकर खाए जाने वाले चावल के दाम भी इस दौरान बढ़ गए हैं. 1 अप्रैल 2023 को चावल की कीमत जहां 39 रुपए किलो थी वहीं साल खत्म होते होते ये बढ़कर 44 रुपए प्रति किलो पर पहुंच गई. वहीं साथ में चपाती के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला आटा भी 34 रुपए प्रति किलो से 2 रुपए बढ़कर 36 रुपए प्रति किलो हो गया है.
आलू-टमाटर हुए महंगे लंच महंगा हो गया तो फिर डिनर भी इससे पीछे नहीं है, क्योंकि अगर बेसिक दाल चावल बीते साल महंगे हुए हैं तो हर सब्जी के साथ ताल मिलाने वाले आलू-टमाटर की कीमतों ने भी पिछले साल लोगों के बजट को जमकर बिगाड़ा है. टमाटर तो पिछले साल जुलाई-अगस्त में ढाई सौ रुपये प्रति किलो के स्तर को भी पार कर गया था.
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