'हमारे पास 45 करोड़ की हेराफेरी के सबूत...', दिल्ली हाई कोर्ट में ED की वो दलीलें जिनसे बढ़ सकती हैं CM केजरीवाल की मुश्किलें
AajTak
प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने अरविंद केजरीवाल की जमानत के आदेश को दिल्ली हाई कोर्ट में चुनौती दी है जिस पर आज सुनवाई हुई. जस्टिस सुधीर कुमार जैन और रविंदर डुडेजा की अवकाश पीठ ने मामले की सुनवाई की.कोर्ट ने मामले की सुनवाई होने तक जमानत के आदेश को रोक दिया था.
दिल्ली हाईकोर्ट ने सीएम केजरीवाल की जमानत और रिहाई पर रोक लगा दी है. हाईकोर्ट ने शुक्रवार शाम ईडी की अर्जी पर फैसला सुरक्षित रखते हुए कहा कि केजरीवाल अभी जेल में ही रहेंगे. इस तरह ट्रायल कोर्ट की ओर से दी गई जमानत को हाईकोर्ट ने 24 घंटे के अंदर ही खारिज कर दिया. अब हाईकोर्ट में एक बार फिर बहस का दौर चलेगा और इस पर दो से तीन दिन में फैसला आ सकता है.
मनी लॉन्ड्रिंग में आरोपी हैं सीएम केजरीवाल बता दें कि सीएम केजरीवाल को ईडी ने शराब घोटाला मामले में मनी लॉन्ड्रिंग का आरोपी बनाया था. गुरुवार को ट्रायल कोर्ट में वैकेशन जज न्याय बिंदु ने दोनों पक्षों की दलील सुनते हुए सीएम केजरीवाल को जमानत दी थी और यह भी कहा था कि वह 1 लाख के मुचलके पर जमानत पर रिहा हो सकते हैं.
हाईकोर्ट ने शुक्रवार सुबह ही लगाया था जमानत पर स्टे लेकिन शुक्रवार को सुबह ही ईडी ने ट्रायल कोर्ट के फैसले को हाईकोर्ट में दलील दी. हाईकोर्ट में मामला जाते है कोर्ट ने सबसे पहले केजरीवाल की जमानत पर स्टे लगा दिया और फिर दिन भर जो बहस चली उसके आधार पर शुक्रवार शाम को भी स्टे ऑर्डर पर फैसला सुरक्षित रखा है. इस फैसले का असर ये होगा की सीएम केजरीवाल को अभी तिहाड़ से रिहाई नहीं मिल रही है कोर्ट अब इस विषय पर विस्तृत सुनवाई करेगी और फिर जमानत मिलने और न मिलने पर फैसला होगा. हाईकोर्ट ने अभी स्टे ऑर्डर बरकरार रखा है. ट्रायल कोर्ट के आदेश पर एक हफ्ते तक की रोक लगाई गई है.
निचली अदालत में नहीं दिया गया बहस के लिए समयः ईडी प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने अरविंद केजरीवाल की जमानत के आदेश को दिल्ली हाई कोर्ट में चुनौती दी है जिस पर आज सुनवाई हुई. जस्टिस सुधीर कुमार जैन और रविंदर डुडेजा की अवकाश पीठ ने मामले की सुनवाई की.कोर्ट ने मामले की सुनवाई होने तक जमानत के आदेश को रोक दिया था. ईडी की तरफ से पेश वकील ने कहा था कि निचली अदालत में हमें इस मामले पर बहस करने के लिए पर्याप्त समय नहीं दिया गया. इसके बाद कोर्ट में क्या-क्या हुआ, जानिए यहां...
ईडी की दलीलों पर नहीं दिया गया ध्यानः ASG ASG राजू ने मगुंटा रेड्डी का बयान पढ़ते हुए कहा कि ट्रायल कोर्ट ने ईडी द्वारा की गई दलीलों पर ध्यान नहीं दिया. उन्होंने कहा, 'मैं हैरान हूं कि लिखित नोट जमा करने के बावजूद कोर्ट कह रहा है कि ईडी मामले की जांच नहीं कर पाया. निचली कोर्ट के आदेश में कहा गया है कि ईडी प्रत्यक्ष सबूत देने में विफल रहा. हमने प्रत्यक्ष प्रमाण दिया है.'
जमानत के फैसले पर उठाए सवाल ASG राजू ने दलील देते हुए कहा, 'निचली कोर्ट का आदेश चौंकाने वाला है हमारे पास शराब नीति मामले में उस आदमी का बयान है जिसने कहा है कि हमने 100 करोड रुपए दिए हैं लेकिन कोर्ट यह कह रही है यह प्रोसीड ऑफ क्राइम नही है. इस मामले में सेक्शन 45 PMLA पर ज्यादा बात ही नहीं सुनी गई. किस तरह इस मामले में सेक्शन 45 PMLA बनता है. ऐसे में किस तरह जमानत दी गयी है वो भी बिना दलील को सुने.'
मणिपुर हिंसा को लेकर देश के पूर्व गृहमंत्री पी चिदंबरम खुद अपनी पार्टी में ही घिर गए हैं. उन्होंने मणिपुर हिंसा को लेकर एक ट्वीट किया था. स्थानीय कांग्रेस इकाई के विरोध के चलते उन्हें ट्वीट भी डिलीट करना पड़ा. आइये देखते हैं कि कांग्रेस का केंद्रीय नेतृत्व क्या मणिपुर की हालिया परिस्थितियों को समझ नहीं पा रहा है?
महाराष्ट्र में तमाम सियासत के बीच जनता ने अपना फैसला ईवीएम मशीन में कैद कर दिया है. कौन महाराष्ट्र का नया मुख्यमंत्री होगा इसका फैसला जल्द होगा. लेकिन गुरुवार की वोटिंग को लेकर सबसे ज्यादा चर्चा जनता के बीच चुनाव को लेकर उत्साह की है. जहां वोंटिग प्रतिशत में कई साल के रिकॉर्ड टूट गए. अब ये शिंदे सरकार का समर्थन है या फिर सरकार के खिलाफ नाराजगी.