
स्वेज नहर में फंसे जहाज पर 900 मिलियन डॉलर का जुर्माना, किया जाएगा जब्त, शिप पर मौजूद 25 भारतीय भी फंसे
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मिस्र की स्वेज नहर में 23 मार्च को मालवाहक जहाज एमवी एवर गिवेन फंस गया था. इसकी वजह से 350 से ज्यादा जहाज अटक गए थे और हफ्तेभर तक कारोबार प्रभावित हुआ था. इसी नुकसान की भरपाई के लिए स्वेज कैनल अथॉरिटी ने एमवी एवर गिवेन को कब्जे में लेने की प्रक्रिया शुरू कर दी है.
मिस्र की स्वेज नहर में जो बड़ा सा जहाज 6 दिन तक फंसा था, उसे अब कब्जे में लेने की तैयारी की जा रही है. इस जहाज का नाम "एमवी एवर गिवेन" था, जो चीन से नीदरलैंड्स के पोर्ट रोटेरडम जा रहा था. तभी रास्ते में तेज हवा की वजह से इस जहाज की दिशा बदल गई और ये फंस गया था. जहाज के फंसने से हुए नुकसान की भरपाई के लिए अब इसे कब्जे में लेने की तैयारी हो रही है. इस खबर की पुष्टि बर्नहार्ड श्यूल्ट शिपमैनेजमेंट (बीएसएम) के प्रवक्ता ने की है. बीएसएम एमवी एवर गिवेन जहाज की टेक्निकल मैनेजर है. बीएसएम के प्रवक्ता ने 'इंडिया टुडे' को बताया कि "जहाज के मालिक ने बीएसएम को जानकारी दी है कि स्वेज कैनल अथॉरिटी (SCA) ने जहाज को कब्जे में लेने की प्रोसेस शुरू कर दी है." इससे पहले लीबिया की एक शिपिंग एजेंसी ने भी ट्वीट किया था कि जहाज और उसकी क्रू को मिस्र ने कब्जे में ले लिया है. हालांकि, इस खबर की पुष्टि अभी तक नहीं हुई है. लीबिया की शिपिंग एजेंसी मेडवेव ने ट्वीट कर दावा किया था. उसने ट्वीट में लिखा था, "एमवी एवर गिवेन जहाज को मिस्र ने कोर्ट के आदेश के बाद कब्जे में ले लिया है. कोर्ट ने जहाज के मालिक से 900 मिलियन डॉलर का भुगतान करने को कहा है."
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