'भारत के साथ हुए समझौते को पाकिस्तान ने तोड़ा...', नवाज शरीफ ने 25 साल बाद मानी गलती
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पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने आखिरकार माना है कारगिल युद्ध पाकिस्तान की गलती का नतीजा था. मसलन, उन्होंने स्वीकार किया कि पाकिस्तान ने 1999 के लाहौर समझौते का उल्लंघन किया था. तब आर्मी चीफ रहे परवेज मुशर्रफ ने गुप्त रूप से अपनी सेना कारगिल में भेजी थी, जिसकी वजह से भारत-पाकिस्तान के बीच बड़े पैमाने पर युद्ध छिड़ गया था.
पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने स्वीकार कर लिया है कि पाकिस्तान ने 1999 के लाहौर समझौते का उल्लंघन किया था. भारत के तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने इस समझौते पर हस्ताक्षर किए थे. उन्होंने परोक्ष रूप से जनरल परवेज मुशर्रफ के कारगिल में घुसपैठ का जिक्र करते हुए कहा, "यह हमारी गलती थी."
पाकिस्तान के पूर्व पीएम शरीफ ने अपनी पार्टी की एक बैठक में स्वीकार किया, "28 मई, 1998 को पाकिस्तान ने पांच परमाणु परीक्षण किए थे. उसके बाद, वाजपेयी साहब यहां आए और हमारे साथ एक समझौता किया लेकिन हमने उस समझौते का उल्लंघन किया... यह हमारी गलती थी."
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क्या है लाहौर समझौता?
लाहौर समझौता, दो युद्धरत पड़ोसियों के बीच एक शांति समझौता है, जिसमें अन्य चीजों पर ध्यान देने के अलावा शांति और सुरक्षा बनाए रखने और दोनों देशों के बीच पिपुल-टू-पिपुल कॉन्टेक्ट को बढ़ावा देने पर जोर दिया गया था. हालांकि, बकौल नवाज शरीफ पाकिस्तान ने कुछ ही समय बाद कारगिल में घुसपैठ कर इसका उल्लंघन किया था. पाकिस्तानी सेना की इसी घुसपैठ की वजह से कारगिल युद्ध हुआ था.
आज ही के दिन पाकिस्तान ने किया था परमाणु परीक्षण
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