'पहले भी ऐसी घटनाएं हुईं, स्पीकर ही संज्ञान लेता है,' लोकसभा में सुरक्षा चूक पर ओम बिरला ने याद दिलाई पुरानी घटना
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संसद की सुरक्षा के उल्लंघन मामले में विपक्ष लगातार हमलावर है. सदन में गृह मंत्री अमित शाह के बयान की मांग को लेकर विपक्ष ने सोमवार सुबह एक बार फिर जबरदस्त विरोध किया है. इस बीच, लोकसभा की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई. स्पीकर ओम बिरला ने जांच कमेटी बनाए जाने की जानकारी दी है.
लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही सोमवार की सुबह 11 बजे एक बार फिर शुरू हुई तो विपक्षी सांसदों ने सुरक्षा में चूक और सांसदों के निलंबन के मामले में जमकर हंगामा किया. स्पीकर ओम बिरला ने संसद में सुरक्षा चूक पर कहा कि जांच के लिए कमेटी बना दी गई है. मामले में तेजी से जांच की जा रही है. स्पीकर ने यह भी कहा कि इससे पहले भी ऐसी कई घटनाएं हो चुकी हैं. तब तत्कालीन स्पीकर ने ही मामले को संज्ञान है. हम इस मामले को गंभीरता से ले रहे हैं.
विपक्ष दल के सदस्य इस मामले में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से सदन में बयान देने की मांग पर अड़े हैं. विपक्ष के विरोध के बीच लोकसभा की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई. स्पीकर ओम बिरला ने कहा, मैंने इस विषय पर पक्ष-विपक्ष के नेताओं के साथ विचार-विमर्श किया था. संसद की सुरक्षा व्यवस्था कैसे मजबूत की जा सके, उसके लिए सुझाव दिए गए थे. इन सुझाव पर अमल किया जाएगा. जांच के लिए कमेटी बनाई है. मामले में जांच शुरू हो गई है. सुरक्षा से संबंधित एक उच्च स्तरीय कमेटी बनाई है. संसद सुरक्षा बेहतर करने के लिए आपके सुझाव भी लिए जा रहे हैं. संसद की गरिमा का भी ध्यान रखा जाए. सार्थक और सकरात्मक चर्चाएं हों.
'हर समस्या का समाधान निकाला जाएगा'
स्पीकर ने कहा कि ये राजनीति करने वाली घटना नहीं है. असहमति लोकतंत्र का हिस्सा. सांसदों का निलंबन इस घटना से ना जोड़ा जाए. संसद में हुई घटना दुर्भायपूर्ण है. हर समस्याओं का समाधान निकाला जाएगा. सदन को चलाने में सहयोग करें. विपक्ष प्रश्नकाल चलने दे. लोकसभा में विपक्षी सांसद लगातार हंगामा करते रहे. सदन में तख्तियां लेकर आना उचित नहीं है.
'22 दिसंबर तक चलेगा शीतकालीन सत्र'
बता दें कि संसद का शीतकालीन सत्र 4 दिसंबर से शुरू हुआ था और यह 22 दिसंबर तक चलेगा. लोकसभा ने 14 दिसंबर को सभापति के निर्देश की अवहेलना करने और सदन की कार्यवाही में बाधा डालने के लिए 13 सदस्यों को संसद के शेष शीतकालीन सत्र के लिए निलंबित कर दिया था. इससे पहले 13 दिसंबर को संसद में घुसपैठ की घटना सामने आई थी.
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