दुर्गा, द्रौपदी, शूर्पणखा... महुआ के Cash for Query की लड़ाई रामायण-महाभारत पर आई!
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महुआ मोइत्रा के खिलाफ कैश-फॉर-क्वेरी केस में सियासी घमासान शुरू हो गया है. एथिक्स कमेटी द्वारा लोकसभा में रिपोर्ट पेश करते ही विपक्षी सांसदों ने जमकर हंगामा किया. इस रिपोर्ट में कमेटी ने महुआ के खिलाफ आरोपों को गंभीर बताया है और उनकी संसद सदस्यता रद्द करने की सिफारिश की है.
कैश-फॉर-क्वेरी मामले में घिरीं टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा की संसद सदस्यता पर खतरा मंडराने लगा है. लोकसभा की एथिक्स कमेटी ने शुक्रवार को महुआ के खिलाफ संसद में रिपोर्ट पेश की. रिपोर्ट में कहा गया है कि महुआ के खिलाफ आरोप गंभीर हैं. कमेटी ने महुआ की संसद सदस्यता रद्द करने की मांग की है. साथ ही भारत सरकार से गहन कानूनी जांच की भी सिफारिश की है.
महुआ मोइत्रा पर क्या कार्रवाई होगी, ये तो समय ही बताएगा. लेकिन इससे पहले ये मामला सियासी तौर पर रामायण से महाभारत की जंग तक पहुंच गया. महुआ मोइत्रा ने शुक्रवार सुबह संसद पहुंचने पर खुद को 'दुर्गा' बताया. उन्होंने कहा कि आप 'महाभारत का रण' देखेंगे. इससे पहले जब महुआ एथिक्स कमेटी के सामने पेश हुई थीं तब उन्होंने उनसे पूछे गए सवालों की तुलना 'वस्त्रहरण' से की थी.
वस्त्रहरण से शुरू हुआ, द्रौपदी- शूर्पणखा तक पहुंचा
महुआ ने शुक्रवार को कहा, ''मां दुर्गा आ गई हैं, अब देखेंगे...जब नाश मनुज पर छाता है, पहले विवेक मर जाता है. उन्होंने 'वस्त्रहरण' शुरू किया अब आप 'महाभारत का रण' देखेंगे.''
महुआ के इस बयान पर बीजेपी ने भी पलटवार किया. बीजेपी ने इस जंग को द्रोपदी से शूर्पणखा तक ला दिया.
बीजेपी बंगाल अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने कहा, ''चीरहरण द्रौपदी का हुआ था, शूर्पणखा का नहीं. इस मामले में महाभारत नहीं होगा. महाभारत के कृष्ण और अर्जुन तो इधर हैं, पीएम मोदी और अमित शाह... महाभारत धर्म की रक्षा के लिए हुआ था. महुआ ने अधर्म किया है. महाभारत में भी अधर्म की हार हुई थी और धर्म की जीत हुई थी. इस बार भी धर्म की जीत होगी.''
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