ड्रैगन की नई चालः सीमावर्ती ग्रामीणों को दे रहा मार्शल आर्ट की ट्रेनिंग, डिफेंस इंफ्रास्ट्रक्चर बनाने में जुटा
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चीन अंतरराष्ट्रीय सीमा के करीब स्थित इन गांवों को 2021 के अंत तक तिब्बत के अन्य शहरों से हाईवे के जरिए जोड़ने की योजना पर भी काम कर रहा है. सूत्रों का कहना है कि चीन इस तरीके से सरहद के नजदीक स्थित गांवों में अपनी रणनीतिक पोजिशन को मजबूत करने के लिए डिफेंस इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलप कर रहा है.
गलवान घाटी में भरतीय सेना के पराक्रम से पस्त हुए अभी एक साल भी नहीं बीते हैं कि चीन फिर चालबाजी में जुट गया है. सूत्रों के मुताबिक चीन अपने सीमावर्ती गांवों में डिफेंस इंफ्रास्ट्रक्चर बनाने में जुटा है. इस बार चीन, भारत के साथ लगती सीमा के करीब स्थित तिब्बत के गांवों में सिर्फ डिफेंस इंफ्रास्ट्रक्चर मजबूत करने में ही नहीं जुटा है, बल्कि वह इन गांवों में रहने वाले लोगों को मार्शल आर्ट की ट्रेनिंग और अन्य अन-आर्म्ड लड़ाई के गुर भी सिखा रहा है. सूत्रों की मानें तो चीन, भारत की सीमा के करीब स्थित 600 गांवों को फिर से बसाकर उन्हें मजबूत बनाने में जुटा हुआ है. चीन जिन 600 गांवों को सरहद के करीब फिर से बसा रहा है, उन गांवों में आधुनिक सुविधाएं दी जा रही हैं और पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) अपनी डिफेंस पोस्ट, डिफेंस टॉवर भी मजबूत कर रही है.गौतम अडानी एक बार फिर चर्चा में हैं क्योंकि उन पर सोलर एनर्जी प्रोजेक्ट्स के ठेके पाने के लिए भारतीय अधिकारियों को करोड़ों रुपये की रिश्वत देने का आरोप है. इस मामले पर NSUI ने भी प्रदर्शन किया है. इस मुद्दे ने राजनीतिक और व्यावसायिक जगत में खलबली मचा दी है, जिसमें भ्रष्टाचार और व्यापारिक नैतिकता के सवाल शामिल हैं.
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