क्या होती है डर्टी वेलनेस, फिट रहने के लिए दुनियाभर में ये ट्रेंड फॉलो कर रहे लोग
AajTak
बागबानी यानी गार्डनिंग करने वालों की मेंटल और फिजिकल हेल्थ पर इसका बड़ा असर देखा गया है. गार्डनिंग से फिट रहने में मदद मिलती है और इससे प्रकृति के पास आने का मौका मिलता है. जीवन में बदलाव के लिए इस ट्रेंड को अपनाने वाले लोग मिट्टी के साथ खेलते हैं और नंगे पैर घास पर चलते हैं.
दुनिया में कुछ न कुछ नया होता रहता है और नए ट्रेंड हमेशा से चर्चा का विषय बनते हैं. फैशन से लेकर म्यूजिक और फिटनेस ट्रेंड तेजी से एक जगह से दूसरी जगह फॉलो किए जाते हैं. पिछले दिनों ऐसा ही ट्रेंड देखने को मिला जिसे 'डर्टी वेलनेस' का नाम दिया गया है. फिट रहने के लिए 'बैक टू बेसिक' की थीम पर आधारित ये ट्रेंड काफी आकर्षक है और लोग फिट रहने के लिए इसे डेली रुटीन का हिस्सा बना रहे हैं. खास तौर पर मेंथल हेल्थ के लिए ये काफी असरदार माना जा रहा है.
प्रकृति के करीब आने का मौका
ग्लोबल वेलनेस समिट के मुताबिक साल 2022 में 'डर्टी वेलनेस' को नंबर वन ट्रेंड माना गया था. इस समिट के दौरान दुनियाभर में फॉलो किए जाने वाले फिटनेस आइडिया के आधार पर सबसे पॉपुलर ट्रेंड को चुना जाता है और इसमें डर्टी वेलनेस सबसे प्रचलित आइडिया था. लोगों ने अपनी फिजिकल और मेंथल हेल्थ में सुधारने के लिए इसका सहारा लिया. इस फिटनेस ट्रेंड में धरती और प्रकृति की तरफ झुकाव पर फोकस किया जाता है और इनसे जुड़कर खुद को फिट रखा जाता है.
समिट के दौरान चर्चा में यह पाया गया कि हमारे पूर्वज जमीन से जुड़कर ही रहते थे, चाहे वह किसान हों या फिर जंगलों में रहने वाले लोग. लेकिन विकास के साथ-साथ जंगलों की जगह ऊंची इमारतों ने ले ली और हम मिट्टी से दूर होते चले गए. इसके अलावा आबादी और प्रदूषण की वजह से मिट्टी ने भी अपनी उत्पादकता खो दी. अब उनकी जगह केमिकल्स आ गए हैं जिसका असर हमारे मानसिक स्वास्थ्य पर भी पड़ा है. तनाव और डिप्रेशन उसके नतीजे के तौर पर सभी के सामने हैं.
मड बाथ का बढ़ता चलन
बागबानी यानी गार्डनिंग करने वालों की मेंटल और फिजिकल हेल्थ पर इसका बड़ा असर देखा गया है. गार्डनिंग से फिट रहने में मदद मिलती है और इससे प्रकृति के करीब आने का मौका मिलता है. जीवन में बदलाव के लिए इस ट्रेंड को अपनाने वाले लोग मिट्टी के साथ खेलते हैं और नंगे पैर घास पर चलते हैं. यह सब नया बिल्कुल नहीं है, लेकिन इसे आधुनिकता की दौड़ में भुला दिया गया है. खुद को मिट्टी में लपेट लेना या कहें कि थोड़ा डर्टी रहना हमारे स्वास्थ्य पर असर डालता है.
राजस्थान कान्ट्रेक्ट्यूअल हायरिंग रूल के तहत होने वाले इस भारतीय में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के 22 प्रकार के पदों पर 8256 और राजस्थान मेडिकल एजुकेशन सोसाइटी के 7 प्रकार के पदों पर 5142 पदों पर भर्तियां होंगी. इस तरह से कुल 29 प्रकार के पदों और नौकरियां दी जाएंगी आवेदन की प्रक्रिया ऑनलाइन रखी गई है.
TRAI के मैंडेट के बाद टेलीकॉम कंपनियों ने सिर्फ वॉयस और SMS वाले प्लान्स को लॉन्च कर दिया है. Jio, Airtel और Vi तीनों ही कंपनियों के नए प्लान्स को लॉन्च कर दिया है. ये प्लान्स सिर्फ वॉयस कॉलिंग और SMS की सुविधा के साथ आते हैं. नए प्लान्स को जोड़ने के साथ ही कंपनियों ने कई प्लान्स को रिमूव भी कर दिया है.
आयोग के चेयरमैन हसमुख पटेल ने बताया कि उनका उद्देश्य अभ्यर्थियों को पर्याप्त समय प्रदान करना है ताकि वे अपनी तैयारी में कोई कमी न रखें. उन्होंने कहा कि इसीलिए, हमने सालाना संभावित भर्ती कैलेंडर जारी किया है. उन्होंने बताया कि जैसे यूपीएससी की तरह, उन्होंने कई विभागों से डिमांड न आने के बावजूद भर्ती प्रक्रिया की तारीख तय कर दी है.
Astell&Kern AK UW100MKII Review: भारतीय मार्केट में Astell & Kern नया नाम है, लेकिन ग्लोबल मार्केट में इसकी अपनी एक अलग पहचान है. ये कंपनी शानदार ऑडियो प्रोडक्ट्स बनाती है, जो काफी प्रीमियम बजट में आते हैं. भारतीय मार्केट में कंपनी के कई प्रोडक्ट्स आते हैं, जिसमें से एक AK UW100MKII हम पिछले कुछ वक्त से यूज कर रहे हैं. आइए जानते हैं इसका रिव्यू.
Gupt Navratri 2025: सामान्यतः लोग शारदीय और चैत्र नवरात्रि के बारे में ही जानते हैं. जबकि इसके अलावा दो और नवरात्र भी हैं, जिनमें विशेष कामनाओं की सिद्धि की जाती है. कम लोगों को इसका ज्ञान होने के कारण या इसके छिपे होने के कारण इसे गुप्त नवरात्र कहा जाता है. यह वर्ष में दो बार आती है. माघ और आषाढ़ के महीने में.