एक देश-एक चुनाव या भारत होगा INDIA का नाम... PM मोदी का 'विशेष' प्लान क्या? विपक्ष इन 5 मुद्दों में कन्फ्यूज
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मोदी सरकार ने अगले हफ्ते संसद का विशेष सत्र बुलाया है. विपक्ष में इसको लेकर हलचल है. विपक्षी दलों में कंफ्यूजन है कि इस विशेष सत्र में किस बात पर चर्चा होगी. सरकार की तरफ से अब तक ये साफ नहीं किया गया है.
मोदी सरकार ने 18 सितंबर से 5 दिनों के लिए संसद का विशेष सत्र बुलाया है. विपक्ष की शिकायत है कि न बातचीत की, न राय मशविरा किया, न एजेंडा बताया और विशेष सत्र बुला दिया. सरकार करना क्या चाहती है, विपक्ष बहुत कन्फ्यूज है.
विपक्षी दलों को कभी लगा कि जल्दी चुनाव हो जाएंगे, कभी लगा कि एक देश एक चुनाव हो जाएगा, कभी महिला आरक्षण बिल लाने की आशंका जताई गई तो कभी इंडिया का नाम बदलकर भारत किये जाने की अफवाह उड़ गई. लेकिन विशेष सत्र का एजेंडा क्लियर नहीं हुआ.
अब इंडिया गठबंधन के दलों की ओर से सोनिया गांधी ने प्रधान मंत्री के नाम एक चिट्ठी लिख दी और कहा कि विशेष सत्र में 28 दल 9 एजेंडे पर बहस करना चाहते हैं. विपक्षी दल इस विशेष सत्र में महंगाई, बेरोजगारी, किसान, मणिपुर, चीन से लेकर बाढ़-सूखा सब चर्चा कर लेना चाहते हैं.
दूसरी तरफ फिलहाल सियासत सनातन पर गरम है. राजनीति इंडिया बनाम भारत पर चढ़ी हुई है. इस बीच पीएम ने कह दिया है कि सनातन पर जवाब तो कायदे से देना चाहिए लेकिन इंडिया बनाम भारत पर हर कोई न बोले.
बड़े विवादों पर पीएम का रुख सामने आने के बाद भी ये साफ नहीं हो सका है कि 18 सितंबर से हो रहे विशेष सत्र का वो सरकारी कामकाज वाला एजेंडा क्या है. ऐसे में सवाल यही है कि संसद के विशेष सत्र के पीछे पीएम मोदी का वो विशेष प्लान क्या है?
क्या विशेष सत्र में सरकार का मुकाबला करने के लिए विपक्ष की ओर से बनाई गई सामान्य रणनीति कारगर हो पाएगी? क्या विशेष सत्र के बाद देश की राजनीति में बहुत बड़ा बदलाव आने वाला है? ऐसे तमाम सवालों पर आज के दंगल में बड़ी चर्चा करेंगे, पहले ये रिपोर्ट देख लेते हैं.
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