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भारत की बोफोर्स FH77 तोपों की 2030 तक विदाई, इनकी जगह ले सकती हैं ये 5 पावरफुल तोपें!
Zee News
Bofors FH77 replace: भारतीय सेना 2030 तक बोफोर्स FH77 तोपों को हटाने जा रही है. 1980 के दशक से सेवा में रही इन तोपों की जगह अब देसी धनुष और ATAGS जैसी उन्नत तोपें लेंगी. सेना ने पहले ही कई धनुष तोपें शामिल कर ली हैं और 1500 से अधिक ATAGS तोपों को भविष्य में शामिल करने की योजना है.
Bofors FH77 replace: भारत जल्द ही आधुनिक तोपों से लैस होने जा रहा है. देश के कोने-कोने में केवल मॉडर्न तोपें ही दिखाई देंगी. इसके लिए भारतीय सेना ने अपनी पुरानी तोपों को हटाने का फैसला लिया है, जिसकी जगह मॉडर्न और एडवांस तोपों को शामिल किया जाएगा. इसमें सबसे बड़ा बदलाव बोफोर्स FH77 तोपों को लेकर है, जिन्हें 2030 तक पूरी तरह हटाने का फैसला लिया गया है. 1980 के दशक में खरीदी गई ये स्वीडन निर्मित 155mm तोपें कारगिल युद्ध में अहम भूमिका निभा चुकी हैं. अब इनकी जगह देसी धनुष और ATAGS जैसी इन 5 एडवांस तोपों को शामिल किया जा सकता है.

Who is better in nuclear power, India or Pakistan?: 1968 में परमाणु अप्रसार संधि की स्थापना के बाद 1974 में पहली बार शांतिपूर्ण परमाणु परीक्षण करने के बाद भारत ने परमाणु हथियारों की दौड़ में प्रवेश किया. भारत ने परमाणु अप्रसार संधि पर हस्ताक्षर नहीं किए क्योंकि भारत ने दावा किया कि यह उनके प्रति भेदभावपूर्ण है.

Airborne Megawatt Laser Weapon: DRDO ने एक ऐसा लेजर वेपन बनाने का फैसला किया है, जिसे लड़ाकू विमानों में फिट किया जा सकेगा और ये बैलिस्टिक मिसाइलों को तबाह करने की ताकत रखेगा. चीन और पाकिस्तान की ओर से बढ़ते खतरे को देखते हुए ये वेपन बनाया जाएगा. DRDO ने हाल ही में कई सारे लेजर वेपन बनाए थे, जो Directed Energy Weapon की फेहरिस्त में भारत का नाम लगातार ऊंचा कर रहे हैं. अब चीन और पाकिस्तान को सबक सिखाने के लिए ये नया हथियार तैयार किया जा रहा है. इसमें कई सारी खूबियां भी होने वाली हैं.