![कोरोना त्रासदी में घिरे भारत पर चीन का सरकारी मीडिया ले रहा चुटकी](https://akm-img-a-in.tosshub.com/aajtak/images/photo_gallery/202104/biden_5_0-sixteen_nine.jpg)
कोरोना त्रासदी में घिरे भारत पर चीन का सरकारी मीडिया ले रहा चुटकी
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भारत में कोरोना संकट भयावह दौर में पहुंच चुका है. भारत लंबे वक्त से अमेरिका से वैक्सीन के लिए जरूरी कच्चे माल के निर्यात पर लगी पाबंदी हटाने की मांग कर रहा था लेकिन बाइडेन प्रशासन का जवाब बहुत देरी से आया. इसे लेकर अब चीनी मीडिया ने कटाक्ष किया है.
भारत में कोरोना महामारी के जारी कहर के बीच चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स ने भारत और अमेरिका के रिश्तों पर कटाक्ष किया है. अमेरिका ने पहले भारत के उस अनुरोध को मानने से इनकार कर दिया था जिसमें वैक्सीन बनाने के लिए जरूरी चीजों के निर्यात पर पाबंदी हटाने की मांग की गई थी. अमेरिकी प्रशासन ने कहा था कि अमेरिका के नागरिक उसकी प्राथमिकता है और जब तक अमेरिका इस संकट से पूरी तरह उबर नहीं जाता है, पूरी दुनिया पर खतरा बना रहेगा. जब इस लेकर आलोचना होने लगी तो बाइडेन प्रशासन ने भारत की मदद करने का ऐलान किया. हालांकि, भारत की मदद के लिए काफी देर बाद सामने आने को लेकर चीनी मीडिया ने अमेरिका पर जमकर निशाना साधा है. ग्लोबल टाइम्स ने लिखा, भारत में कोविड महामारी सबसे भयावह चरण में पहुंच गई है. वहीं अमेरिका 20 करोड़ लोगों को वैक्सीन लगवाने की उपलब्धि का जश्न मनाने में व्यस्त है. ये कितना बड़ा विरोधाभास है! अमेरिका ने भारत को वैक्सीन के लिए जरूरी कच्चे माल के निर्यात पर लगी पाबंदी को हटाने से भी इनकार कर दिया था.![](/newspic/picid-1269750-20250214181736.jpg)
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की व्हाइट हाउस में हुई मुलाकात ने दोनों नेताओं के बीच गहरी मित्रता को दर्शाया. ट्रंप ने मोदी को 'आई मिस यू' कहकर स्वागत किया, जबकि मोदी ने दोनों देशों के संबंधों को '1+1=111' बताया. दोनों नेताओं ने व्यापार, सुरक्षा और द्विपक्षीय संबंधों पर चर्चा की. ट्रंप ने मोदी को 'महान नेता' और 'खास व्यक्ति' बताया. मोदी ने 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को 500 अरब डॉलर तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा. दोनों नेताओं ने यूक्रेन युद्ध पर भी चर्चा की और शांति की आवश्यकता पर जोर दिया.
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की व्हाइट हाउस में हुई मुलाकात में दोस्ती और व्यापार पर चर्चा हुई. दोनों नेताओं ने एक-दूसरे की तारीफ की, लेकिन व्यापार मुद्दों पर तनाव बरकरार रहा. ट्रंप ने रेसिप्रोकल टैरिफ की घोषणा की, जो भारत के लिए चुनौती हो सकती है. मुलाकात में एफ-35 फाइटर जेट्स और तहव्वुर राणा के प्रत्यर्पण पर भी चर्चा हुई.
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अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बैठक में दोनों देशों के बीच बढ़ते रक्षा सहयोग पर गहन चर्चा की गई. इस चर्चा में अमेरिका ने भारत को F-35 स्टेल्थ फाइटर जेट्स, स्ट्राइकर कॉम्बैट व्हीकल्स और जावलिन मिसाइल्स की पेशकश की. विशेषज्ञों का विचार है कि ये हथियार भारत की आत्मनिर्भरता नीति के सटीक अनुरूप नहीं हैं.
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रूस-यूक्रेन जंग को खत्म करने का ब्लू प्रिंट अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने लगभग तैयार कर लिया है. इससे पहले ट्रंप ने रूस के राष्ट्रपति पुतिन और यू्क्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की से फोन पर बातचीत की. ट्रंप चाहते हैं कि नाटो में शामिल होने की जिद्द यूक्रेन छोड़ दे लेकिन जेलेंस्की ने अपने देश की सुरक्षा का हवाला दिया है.
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PM नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप के बीच हुई मुलाकात में कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा हुई. आतंकवाद से निपटने में सहयोग बढ़ाने पर सहमति बन गई, जिसमें ठाकुर हसन राणा के प्रत्यर्पण का विषय भी शामिल था. फार्मास्यूटिकल क्षेत्र में भारत-अमेरिका के सहयोग पर भी वार्ता हुई, जहाँ अमेरिकी बाजार में भारतीय जेनेरिक दवाओं की भारी मांग है.