राजनीति में कितने दमदार थे बाबा सिद्दीकी? देखें
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बाबा सिद्दीकी ने अपने तीन से चार दशकों के राजनीतिक करियर में कई उपलब्धियां हासिल की. वे 16-17 साल की उम्र से कांग्रेस से जुड़े. 1992 और 1997 में उन्हें कांग्रेस के टिकट पर मुंबई सिविल बॉडी के लिए कॉर्पोरेटर चुना गया. वे महाराष्ट्र सरकार में मंत्री भी रहे.
गौतम अडानी एक बार फिर चर्चा में हैं क्योंकि उन पर सोलर एनर्जी प्रोजेक्ट्स के ठेके पाने के लिए भारतीय अधिकारियों को करोड़ों रुपये की रिश्वत देने का आरोप है. इस मामले पर NSUI ने भी प्रदर्शन किया है. इस मुद्दे ने राजनीतिक और व्यावसायिक जगत में खलबली मचा दी है, जिसमें भ्रष्टाचार और व्यापारिक नैतिकता के सवाल शामिल हैं.
मणिपुर हिंसा को लेकर देश के पूर्व गृहमंत्री पी चिदंबरम खुद अपनी पार्टी में ही घिर गए हैं. उन्होंने मणिपुर हिंसा को लेकर एक ट्वीट किया था. स्थानीय कांग्रेस इकाई के विरोध के चलते उन्हें ट्वीट भी डिलीट करना पड़ा. आइये देखते हैं कि कांग्रेस का केंद्रीय नेतृत्व क्या मणिपुर की हालिया परिस्थितियों को समझ नहीं पा रहा है?