क्या है काहिरा प्लान? सबसे ज्यादा आबादी वाले 8 मुस्लिम देश मिलकर क्या करने जा रहे हैं
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गुरुवार को इजिप्ट की राजधानी काहिरा में आठ मुस्लिम देशों के लीडर इकट्ठा होने जा रहे हैं. इकनॉमिक बेहतरी के लिए बने इस संगठन डी-8 में एक दशक बाद ईरान के राष्ट्रपति भी हिस्सा लेंगे. अब तक मिस्र और ईरान के खराब संबंधों के चलते ये संभव नहीं हो सका था. माना जा रहा है कि आर्थिक मुद्दों के अलावा उनके एजेंडा में मिडिल ईस्ट की खदबदाहट भी होगी.
आठ मुस्लिम देशों के गुट डी-8 की गुरुवार से इजिप्ट में मीटिंग हो रही है. पाकिस्तान और बांग्लादेश समेत इसमें तुर्की और ईरान जैसे देश भी हिस्सा लेंगे. आर्थिक मुद्दों के अलावा इस बैठक में मुस्लिम देश फिलिस्तीन मुद्दे को भी उठा सकते हैं. खासकर सीरियाई तख्तापलट के बाद इजरायल जिस तरह से आक्रामक हुआ है, उसे लेकर अंदाजा लगाया जा रहा है कि देश इजरायल के खिलाफ भी कोई प्रस्ताव ला सकते हैं.
कौन से देश शामिल हैं डी-8 में विकासशील मुस्लिम देशों के संगठन में पाकिस्तान, बांग्लादेश, इंडोनेशिया, मलेशिया, नाइजीरिया, इजिप्ट, तुर्की और ईरान शामिल हैं. संगठन का पूरा नाम डी-8 ऑर्गेनाइजेशन फॉर इकनॉमिक कोऑपरेशन है. साल 1997 में मुस्लिम देशों की आर्थिक तरक्की के लिए बना ये समूह एक मामले में खास है कि केवल इन्हीं आठ देशों की कुल आबादी लगभग सवा अरब है, जो दुनियाभर की मुस्लिम आबादी के साठ फीसदी जितनी है. इसमें अरब देश, जैसे सऊदी अरब, इराक, सीरिया, कतर और यूएई शामिल नहीं हैं.
दक्षिण पूर्व एशिया से अफ्रीका तक फैले देशों का पहला एजेंडा था, आर्थिक बढ़त. फिर इसमें सोशल मुद्दे भी शामिल होने लगे. इस बार इसमें ईरान के राष्ट्रपति मसूद पेजेश्कियान भी हिस्सा ले रहे हैं. यह एक दशक बाद किसी ईरानी लीडर की पहली इजिप्ट यात्रा है, जिसके कई मायने लगाए जा रहे हैं.
ईरान और इजिप्ट का रिश्ता आमतौर पर काफी तनावभरा रहा. इसकी शुरुआत सत्तर के दौर में इस्लामिक क्रांति के साथ हो चुकी थी. इजिप्ट जहां विकास की बात करता था, वहीं ईरान कट्टरता की तरफ जा चुका था. ऐसे में दोनों के संबंध बिगड़ते चले गए. बाद में कई कॉमन मित्रों ने दोनों के बीच दोस्ती की कोशिश की, हालांकि तनाव कम नहीं हुआ.
अब इजरायली आक्रामकता के बीच दोनों देश वापस जुड़ते दिख रहे हैं. दरअसल ये बदलाव पिछले सालभर में आया है. हमास और इजरायल की जंग शुरू होने के बाद इजिप्ट ने भी भी बीच-बचाव की कोशिश की. इससे ईरान और उसके बीच पड़ी गांठ हल्की पड़ती दिख रही है. इसी बीच ईरानियन राष्ट्रपति काहिरा की यात्रा कर रहे हैं, जिसे काफी बड़ी बात माना जा रहा है.
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