MP: अपनी मां को नाम से पहचानता है हर बछड़ा, ऐसा गो प्रजनन केंद्र अब संकट में
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मध्य प्रदेश के आगर मालवा में भारत का एक मात्र प्रजनन केंद्र है जहां मालवा नस्ल की गायों का प्रजनन करवाया जाता है लेकिन अब इस प्रजनन केंद्र पर खतरा मंडरा रहा है. यह प्रजनन केंद्र अपने आप में अनूठा है क्योंकि यहांं हर गाय का नाम है और जिस गाय का नाम पुकारा जाता है, बछड़ा उसी के पास जाकर दूध पीता है.
मध्य प्रदेश के आगर मालवा में भारत का एक मात्र प्रजनन केंद्र है जहां मालवा नस्ल की गायों का प्रजनन करवाया जाता है लेकिन अब इस प्रजनन केंद्र पर खतरा मंडरा रहा है. यह प्रजनन केंद्र अपने आप में अनूठा है क्योंकि यहांं हर गाय का नाम है और जिस गाय का नाम पुकारा जाता है, बछड़ा उसी के पास जाकर दूध पीता है. प्रजनन केंद्र, आगर मालवा की शान मोतीसागर तालाब के बिल्कुल पास बना हुआ है जहां मालवा नस्ल की देसी गायों को बचाने की कवायद कई वर्षों से चल रही है. यहां प्रजनन के लिए देसी नस्ल के बैलों को भी तैयार किया जाता है ताकि नस्ल आगे आने वाले समय में लुप्त न हो.सबसे ज्यादा हैरान करने वाली बात यह रही कि खींवसर को तीन क्षेत्रों में बांटकर देखा जाता है और थली क्षेत्र को हनुमान बेनीवाल का गढ़ कहा जाता है. इसी थली क्षेत्र में कनिका बेनीवाल इस बार पीछे रह गईं और यही उनकी हार की बड़ी वजह बनी. आरएलपी से चुनाव भले ही कनिका बेनीवाल लड़ रही थीं लेकिन चेहरा हनुमान बेनीवाल ही थे.
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