Hemant Soren की आज ED के सामने पेशी, Arrest हुए तो क्या पत्नी Kalpana Soren संभालेंगी कुर्सी?
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झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन आज प्रवर्तन निदेशालय (ED) के सामने पेश होने वाले हैं. जमीन घोटाले से जुड़े कथित मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में आज ED उनसे पूछताछ करने वाली है. इस बीच अब सियासी गलियारों में यह चर्चा तेज हो गई है कि अगर हेमंत अरेस्ट होते हैं तो क्या अपनी कुर्सी पत्नी कल्पना को सौंप देंगे.
जमीन घोटाले से जुड़े कथित मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन आज प्रवर्तन निदेशालय (ED) के सामने पेश होंगे. सियासी हलकों में यह चर्चा चल रही है कि हेमंत अपनी कुर्सी पत्नी कल्पना सोरेन को सौंप सकते हैं. हालांकि, उनका अगला सियासत कदम ईडी की कार्रवाई पर निर्भर होगा. कहा जा रहा है कि अगर जांच एजेंसी हेमंत सोरेन को गिरफ्तार करती है तो वह सीएम का पद कल्पना सोरेन के हवाले कर सकते हैं.
कल्पना के झारखंड का अगला सीएम बनने की कवायद विधायक दल उस बैठक के बाद और तेज गई है, जो मंगलवार शाम हेमंत सोरेन ने बुलाई थी. इस मीटिंग में सीएम की पत्नी कल्पना भी नजर आई थीं. कल्पना जो अभी कोई विधायक तक नहीं हैं, उनका बैठक में मौजूद होना कई सुगबुाहटों को जन्म दे रहा है. इस कारण ही राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि अगर हेमंत सोरेन तीन घोटाले के आरोपों में गिरफ्तार होते हैं तो क्या पत्नी को सीएम बनाएंगे?
विधायकों से सादे कागज पर कराए गए दस्तखत
फिलहाल झारखंड के सीएम को लेकर सस्पेंस बरकरार है. सस्पेंस ये है कि बुधवार को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ही होंगे या फिर उनकी पत्नी या कोई और. इस बीच बैठक के बाद सभी विधायक-मंत्रियों को सर्किट हाउस में ही रुकने को कहा गया है. गठबंधन के सभी विधायकों से सादे कागज पर दस्तखत भी कराए गए हैं. ये दावा बीजेपी की तरफ से किया गया है. बीजेपी नेता निशिकांत दुबे ने दावा किया कि कल्पना सोरेन के नाम पर विधायक दल की बैठक में सहमति नहीं बन पाई. इस दौरान विधायकों से सादे कागज पर हस्ताक्षर कराया गया. वहीं, कांग्रेस विधायक दीपिका पांडे सिंह ने भी दस्ताखत कराने की पुष्टि की. उन्होंने कहा कि सारे विधायकों को रांची में रहने को बोला गया है. समर्थन पत्र पहले भी दिए गए हैं और फिर से देने की जरूरत पड़ेगी तो देंगे.
इस मामले में अब आगे क्या होने के आसार?
जानकारों का कहना है कि बुधवार को ईडी के सामने पहली बार जा रहे हेमंत सोरेन अगर गिरफ्तार होते हैं तो सरकार पर नियंत्रण के लिए चाहेंगे की पत्नी कल्पना को सीएम बना दें. उम्मीद ये हो सकती है कि सहानुभूति पत्नी के सहारे बंटोरेंगे. लेकिन विपक्ष के लिए तब परिवारवाद के पैमाने पर नई चुनौती होगी. दूसरा अगर हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी नहीं होती सिर्फ पूछताछ ही होती है तो गिरफ्तारी की तलवार आगे लटकी रहेगी. भ्रष्टाचार के मुद्दे पर विपक्ष के लिए चुनौती खड़ी रहेगी.
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