सरकारी लाभ देने के बदले रिश्वत मांग रहा था पटवारी, ACB ने दबोचा
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राजस्थान के बाड़मेर (Rajasthan Barmer) में एक पटवारी कृषि अनुदान के लिए सूची में नाम जोड़ने के नाम पर रिश्वत मांग रहा था. पीड़ित ने इस मामले की शिकायत भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) से कर दी. इसके बाद शिकायत की जांच की गई और पटवारी को रिश्वत लेते हुए रंगेहाथों पकड़ लिया.
राजस्थान में भ्रष्ट सरकारी अधिकारियों और कार्मिकों के खिलाफ भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) की ताबड़तोड़ कार्रवाई जारी है. शुक्रवार को बाड़मेर भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) की टीम ने जिला मुख्यालय की पुलिस लाइन में देरासर गांव के पटवारी को रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ लिया. पिछले 7 दिन में यह तीसरा मौका है, जब एसीबी ने लगातार तीसरी बार किसी पटवारी को ट्रैप किया है.
जानकारी के मुताबिक, देरासर गांव के बानो का तला निवासी शख्स ने बाड़मेर एसीबी में 7 अप्रैल को शिकायत की थी कि उसकी खातेदारी जमीन देरासर गांव में आई हुई है. इसमें कुल 9 हिस्सेदार हैं. कृषि अनुदान की राशि के लिए वह जरूरी दस्तावेजों के साथ कई बार पटवारी के चक्कर लगा चुका है, लेकिन पटवारी रावताराम प्रति नाम 500 रुपए के हिसाब से 4500 रुपए की रिश्वत मांग रहे हैं. इस शिकायत पर बाड़मेर एसीबी की टीम ने जांच कराई. इसके बाद पुलिस लाइन में पत्नी के क्वार्टर में रह रहे पटवारी रावताराम को घूस लेते समय ट्रैप कर लिया.
पटवारी के ठिकानों पर टीम दे रही दबिश
बाड़मेर एसीबी के सीआई मुकनदान के अनुसार, रिश्वत मांगे जाने की शिकायत का सत्यापन कराया गया. इसके बाद पटवारी रावताराम को रिश्वत लेते ट्रैप किया गया है. आरोपी रावताराम गागरिया में आरआई के पद पर कार्यरत है. सियाणी में आरआई का अतिरिक्त चार्ज है. इसके अलावा पटवारी के तौर पर देरासर और हाथमा हल्के का अतिरिक्त चार्ज रावताराम के पास है. ACB की टीम आरआई और पटवारी के ठिकानों पर दबिश देकर जांच पड़ताल में जुटी हुई है.
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