सरकारी रिकॉर्ड में होती हैं कोरोना से जितनी मौतें, कोविड घाट पर रोजाना उससे 5 गुना ज्यादा लोगों का होता है अंतिम संस्कार
ABP News
यूपी के प्रयागराज में सरकारी आंकड़ों से अलग घाटों और कब्रिस्तान में होने वाले अंतिम संस्कार की संख्या में रोजाना तकरीबन पांच गुना तक का फर्क होता है. कांग्रेस ने हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस को लेटर भेजकर उनसे न्यायिक जांच कराने का आदेश देने की अपील की है.
प्रयागराज: संगम नगरी प्रयागराज में कोरोना के हालात अब काबू में हैं. यहां संक्रमण और मौतों की संख्या तेजी से घट रही हैं, लेकिन कोरोना संक्रमण से होने वाली मौतों के आंकड़े लगातार सवालों के घेरे में हैं. मौत के आंकड़ों पर इसलिए भी सवाल उठ रहे हैं, क्योंकि कोविड से होने वाली मौतों के अंतिम संस्कार के लिए जो श्मशान घाट रिजर्व किया गया है, वहां चौबीसों घंटे चिताएं धधकती रहती हैं. कब्रिस्तानों में भी रोजाना तमाम लोग दफनाए जा रहे हैं. आकड़ों के साथ बाजीगरी सरकारी आंकड़ों में घाटों और कब्रिस्तान में होने वाले अंतिम संस्कार की संख्या में रोजाना तकरीबन पांच गुना तक का फर्क होता है. कोविड से होने वाली मौतों के आंकड़ों के साथ बाजीगरी क्यों की जा रही है. जिम्मेदार अधिकारी सच पर पर्दा क्यों डाल रहे हैं. आकड़ों के साथ बाजीगरी क्यों की जा रही है, फिलहाल ये साफ नहीं है. आंकड़ों के साथ हो रहे खिलवाड़ को लेकर कांग्रेस पार्टी ने अब हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस को लेटर भेजकर उनसे इस मामले में न्यायिक जांच कराने का आदेश देने की अपील की है.More Related News