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व्यापक वैक्सीन मिक्स योजना..., ताकि टीके मिलें भी ज्यादा और लगें भी ज्यादा
ABP News
उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार स्पुतनिक टीके को बनाने वाले रूस के गमालया इंस्टीट्यूट ने भारत को बताया कि उसकी एस्ट्राजेनका के साथ भी सहयोग को लेकर बात हो रही है. ताकि एस्ट्राजेनका ( भारत में कोविशील्ड) टीका लगाने वाले लोग यदि चाहें तो दूसरे डोज के तौर पर स्पुतनिक टीका लगवा सकें.
नई दिल्लीः कोरोना के कहर में एक तरफ ऑक्सीजन और दवाओं की कमी को पाटने के लिए ताबड़तोड़ कोशिशें चल रही हैं. वहीं बीते कुछ हफ्तों से जारी आपूर्ति की मुश्किलों के बाद भारत ने अपने वैक्सीन कार्यक्रम को तेज रफ्तार गियर में ले जाने की तैयारी कर ली है. इस कड़ी में देश के सबसे बड़े वैक्सीन उत्पादक सीरम इंस्टीट्यूट से हुए उच्च स्तरीय संवाद में सरकार को भरोसा दिया है कि अब उसके सामने कच्चे माल की कोई दिक्कत नहीं है और कंपनी अपना उत्पादन बढ़ा सकती है. सरकार के उच्च पदस्थ सूत्रों ने एबीपी न्यूज को बताया कि हाल ही में सीरम इंस्टूट्यूट के प्रमुख आदर पूनावाल के फोन पर वरिष्ठ अधिकारियों की बात हुई.बताया जाता है कि इस वार्ता के दौरान पूनावाला ने कच्चे माल की कमी की शिकायत दूर होने और उत्पादन बढ़ाने के लिए जरूरी सामान होने का भरोसा दिया. यह भारत में सबसे ज्यादा इस्तेमाल हो रहे कोविशील्ड टीकों का इस्तेमाल हो रहा है.More Related News