यौन उत्पीड़न के आरोपी तमिल कवि वैरामुथु ने विरोध के बाद साहित्य पुरस्कार अस्वीकार किया
The Wire
तमिल कवि एवं गीतकार वैरामुथु को ओएनवी अकादमी की ओर से दिए जाने वाले साहित्यिक पुरस्कार के लिए चुना गया था. अभिनेत्री पार्वती थिरुवोथु और गीतू मोहनदास तथा गायिका चिन्मयी श्रीपदा आदि ने इसका विरोध किया था. ये महिलाओं में शामिल हैं, जिन्होंने गीतकार पर यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं. वहीं, अकादमी के अध्यक्ष और मलयालम फिल्मों के निर्देशक अडूर गोपालकृष्णन ने उनको पुरस्कार देने के फैसले का समर्थन किया था.
नई दिल्लीः महिलाओं के उत्पीड़न के आरोपों का सामना कर रहे तमिल कवि और गीतकार वैरामुथु ने ओएनवी साहित्यिक पुरस्कार को वापस करने की बात कही है. पुरस्कार के लिए अपने चयन पर विरोध के बीच उन्होंने पुरस्कार वापसी का ऐलान किया है. Despite multiple women coming out naming Mr. Vairamuthu as a molester, so many politicians coming out in support of a predator is an open message of silencing survivors. No wonder the poet uses politicians' names to threaten women. That's because he does get their support 🙂 https://t.co/vDI2MKF4MM Let us remember, dear Tamil friends, there was a season when bold writers returned their awards. That's the courage it took to highlight an oppressive regime. Vairamuthu returning an award which he never received, is a face-saving measure. He'll never challenge the establishment pic.twitter.com/8gBWDe8VtQ यह पुरस्कार ज्ञानपीठ पुरस्कार विजेता और मलयालम कवि दिवंगत ओएनवी कुरुप की स्मृति में शुरू किया गया था और इस साल इस पुरस्कार के लिए वैरामुथु का चयन किया गया था. — Chinmayi Sripaada (@Chinmayi) May 29, 2021 — ʎɯɐsɐpuɐʞ ɐuǝǝɯ || stand with #palestine 🇵🇸 (@meenakandasamy) May 29, 2021 हालांकि उन्होंने कहा कि वह पुरस्कार ‘वापस’ कर रहे हैं, लेकिन वास्तव में वैरामुथु पुरस्कार को अस्वीकार कर रहे थे, क्योंकि उन्हें अभी तक यह पुरस्कार दिया नहीं गया था. उन्होंने कहा कि वह नहीं चाहते कि ज्यूरी को शर्मिंदगी का सामना करना पड़े और उन्होंने पुरस्कार के लिए उनके नामांकन पर ओएनवी सांस्कृतिक अकादमी के फैसले पर पुनर्विचार करने को कहा है.More Related News