
यूरोप में पकड़ी गई पहली नार्को-पनडुब्बी की अनोखी कहानी
BBC
तीन लोगों ने 2019 के अक्टूबर-नवंबर में अटलांटिक महासागर में ड्रग्स तस्करी के लिए ब्राजील से यूरोप के बीच 3,500 नॉटिकल मील की दूरी तय की. इसके लिए उन्होंने फाइबर ग्लास से बनी पनडुब्बी का इस्तेमाल किया.
मोटी कद काठी के तीन लोगों ने अपने आपको केवल डेढ़ मीटर वर्ग की जगह में 27 दिनों तक बंद रख कर समुद्र के भीतर लंबा सफ़र तय किया. पानी के भीतर चल रही उस छोटी सी पनडुब्बी में चलने की जगह शायद ही हो. वे जिस पनडुब्बी में यात्रा कर रहे थे, वहां रखे सामानों पर सोकर काम चलाया.
उस पनडुब्बी के बाथरूम में पानी निकलने के इंतज़ाम नहीं थे. इसलिए उन्होंने ख़ुद को हल्का करने के लिए एक बैग का इस्तेमाल किया. उन्होंने ज़िंदा रहने के लिए डिब्बाबंद खाद्य पदार्थ, पेस्ट्री, एनर्जी बार और रेड बुल ड्रिंक का उपयोग किया.
यात्रा के दौरान उनकी चमड़ी पर कई जगह चकत्ते उभर आए. इसकी वजह हर समय पहने जाने वाले गीले और चिकने वेटसूट थी. वहां से बाहर देखने के लिए केवल छह छोटी खिड़कियां थीं.
इन तीनों ने 2019 के अक्टूबर-नवंबर में अटलांटिक महासागर में ब्राजील से यूरोप के बीच की 3,500 नॉटिकल मील से अधिक की दूरी तय की. इसके लिए उन्होंने फाइबर ग्लास से बनी, जिस पनडुब्बी का इस्तेमाल किया, उसकी सफलता संदिग्ध थी.
इस पनडुब्बी में रास्ते का पता करने के लिए कोई बड़े इलेक्ट्रॉनिक उपकरण नहीं लगे थे. इसमें केवल पारंपरिक सैटेलाइट फोन और डैशबोर्ड पर एक कंपास लगा था.