भारत में कोरोना के कितने वेरिएंट, ‘भारतीय वेरिएंट’ है घातक? समझिए
The Quint
Indian Covid variants explained: CSIR के सेंटर फॉर सेल्युलर एंड मॉलीक्यूलर बायोलॉजी के डायरेक्टर डॉ. राकेश मिश्रा से FIT ने जाना, FIT asks Dr Rakesh Mishra, Director of Centre for Cellular & Molecular Biology, in CSIR
कोविड की दूसरी लहर की गिरफ्त के साथ ही, भारत में एक नया वेरिएंट सामने आया जिसे ‘डबल वेरिएंट’ नाम दिया गया. इसके बाद ‘ट्रिपल म्यूटेंट’ और ‘बंगाल वेरिएंट’ समेत दूसरे वेरिएंट भी सामने आए.मामले जैसे-जैसे खतरनाक रफ्तार से बढ़ रहे हैं, हर नया वेरिएंट इसके नतीजों का एक नया डर लेकर आ रहा है.इन शब्दों का असल में मतलब क्या है? ‘भारतीय/इंडियन वेरिएंट’ क्या है? क्या दूसरी लहर (second wave) में मची तबाही के पीछे यही वेरिएंट जिम्मेदार है?फिट ने CSIR के सेंटर फॉर सेल्युलर एंड मॉलीक्यूलर बायोलॉजी के डायरेक्टर डॉ. राकेश मिश्रा से बात की, जो वहां ‘जीनोम ऑर्गेनाइजेशन एंड न्यूक्लियर आर्किटेक्चर लैब’ के हेड हैं.स्नैपशॉटशब्दावली को समझना: ‘वेरिएंट’ और ‘म्यूटेशन’ के बीच क्या फर्क है?ये प्राकृतिक वेरिएंट कब ‘वेरिएंट ऑफ इंट्रेस्ट (रुचि का विषय’ या ‘वेरिएंट ऑफ कंसर्न (चिंता का विषय)’ बन जाते हैं?‘इंडियन वेरिएंट’ के बारे में हम कितना जानते हैं?क्या ‘ट्रिपल म्यूटेंट’ ‘डबल म्यूटेंट’ से ज्यादा खतरनाक है?क्या नए लक्षणों की वजह नए वेरिएंट हैं?क्या नया वेरिएंट RT-PCR टेस्ट में पकड़ में नहीं आ सकता है?हमारी वैक्सीन कितनी असरदार हैं? क्या वे इंडियन वेरिएंट से सुरक्षा प्रदान करती हैं?हमें नए वेरिएंट के बारे में कितनी फिक्र करनी चाहिए? 1. शब्दावली को समझना: ‘वेरिएंट’ और ‘म्यूटेशन’ के बीच क्या फर्क है?वायरस की प्रकृति लगातार बदलाव करते रहने की होती है. इन बदले हुए वर्जन को वेरिएंट (variants) कहा जाता है.डॉ. मिश्रा बताते हैं कि वेरिएंट और म्यूटेंट (mutants) बुनियादी रूप से एक ही चीज हैं. दोनों मूल वायरस में होने वाले कुछ बदलावों का नतीजा हैं जो इसके जीनोम सीक्वेंस में बदलाव की वजह बनते हैं.वे कहते हैं, “म्यूटेशन ज्यादा वैज्ञानिक शब्द है, लेकिन ‘वेरिएंट’ इन दिनों आमतौर पर ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है.”“जब हम वेरिएंट की बात करते हैं तो हम आमतौर पर ऐसे म्यूटेंट का जिक्र करते हैं जो लोगों को उतनी ही या उससे ज्यादा कुशलता से संक्रमित करने में सक्षम होते हैं.”डॉ. राकेश मिश्रा, डायरेक्टर, सीएसआईआर-सेंटर फॉर सेल्युलर एंड मॉलिक्यूलर बायोलॉजी, हैदराबाद2. ये प्राकृतिक वेरिएंट कब ‘वेरिएंट ऑफ इंट्रेस्ट (रुचि का विषय&rs...More Related News