बिहार: गैंग रेप और हत्या मामले में 20 महीने बाद भी नहीं मिला इंसाफ, दर-दर भटक रहा पीड़िता का मजबूर पिता
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पीड़िता के पिता रामनरेश यादव ने बताया कि डीएसपी के द्वारा बोला गया कि पंचायत चुनाव के बाद कुछ करेंगे और पंचायत चुनाव खत्म होने के बाद पुनः पीड़िता के पिता अनुमंडल पुलिस कार्यालय पहुंचे, लेकिन उनकी मुलाक़ात डीएसपी साहब से नहीं हो सकी.
सीतामढ़ी जिले के रंजीतपुर पश्चिमी गांव की 10वीं की मेधावी छात्रा के साथ बीते वर्ष 2020 के 11 अप्रैल को सामूहिक दुष्कर्म कर हत्या कर दी गयी थी. इतना ही नहीं हत्या के बाद शव को पेड़ से लटका दिया गया था. बदमाशों के द्वारा रेप के दौरान नाबालिग लड़की की मांग में सिन्दूर भी डाल दिया था. हालांकि इस मामले में एक आरोपी को पीड़िता के परिजनों ने पकड़कर पुलिस के हवाले भी कर दिया था, लेकिन पुलिस इस मामले को नजर अंदाज करती हुई अन्य आरोपियों को गिरफ्तार करने या आगे की कार्रवाई करने में अब तक नाकाम ही साबित रही है.
सबसे ज्यादा हैरान करने वाली बात यह रही कि खींवसर को तीन क्षेत्रों में बांटकर देखा जाता है और थली क्षेत्र को हनुमान बेनीवाल का गढ़ कहा जाता है. इसी थली क्षेत्र में कनिका बेनीवाल इस बार पीछे रह गईं और यही उनकी हार की बड़ी वजह बनी. आरएलपी से चुनाव भले ही कनिका बेनीवाल लड़ रही थीं लेकिन चेहरा हनुमान बेनीवाल ही थे.
देश का सबसे तेज न्यूज चैनल 'आजतक' राजधानी के मेजर ध्यानचंद नेशनल स्टेडियम में तीन दिवसीय 'साहित्य आजतक' महोत्सव आयोजित कर रहा है. इसी कार्यक्रम में ये पुरस्कार दिए गए. समारोह में वरिष्ठ लेखकों और उदीयमान प्रतिभाओं को उनकी कृतियों पर अन्य 7 श्रेणियों में 'आजतक साहित्य जागृति सम्मान' से सम्मानित किया गया.
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हिंदी साहित्य के विमर्श के दौरान आने वाले संकट और चुनौतियों को समझने और जानने की कोशिश की जाती है. हिंदी साहित्य में बड़े मामले, संकट और चुनने वाली चुनौतियाँ इन विमर्शों में निकली हैं. महत्वपूर्ण विचारकों और बुद्धिजीवियों ने अपने विचार व्यक्त किए हैं. हिंदी साहित्यकार चन्द्रकला त्रिपाठी ने कहा कि आज का विकास संवेदन की कमी से ज्यादा नजर आ रहा है. उन्होंने कहा कि व्यक्ति प्रेम के लिए वस्तुओं की तरफ झूक रहा है, लेकिन व्यक्ति के प्रति संवेदना दिखाता कम है. त्रिपाठी ने साहित्यकारों के सामने मौजूद बड़े संकट की चर्चा की. ये सभी महत्वपूर्ण छोटी-बड़ी बातों का केंद्र बनती हैं जो हमें सोचने पर मजबूर करती हैं.