बिहार: कोरोना का क़हर दिख रहा दिल दहलाने वाली कहानियों और ख़ौफ़नाक तस्वीरों में
BBC
बिहार के ग्रामीण इलाक़ों से लगातार इस तरह की भयावह ख़बरें आ रही हैं. तस्वीरों में ख़ौफ़नाक मंज़र दिख रहे हैं.
पीपीई किट पहने, मां का शव दफ़नाने के लिए गड्ढा खोदती एक युवती की तस्वीर ग्रामीण बिहार में कोरोना की दूसरी लहर का दर्दनाक सच बयां करती है. इस तस्वीर को दैनिक भास्कर अख़बार के चंदन चौधरी ने अपने कैमरे में क़ैद किया है. अररिया के मधूलता में माता-पिता की कोविड-19 से मौत के बाद 14 साल की लड़की सोनी कुमारी और उसके भाई-बहन का गांववालों ने बहिष्कार कर दिया था. उन्हें माता-पिता का दाह संस्कार तक नहीं करने दिया गया. मां के शव को दफ़नाने के लिए अकेली लड़की की गड्ढा खोदती तस्वीर अख़बार में प्रकाशित होने के बाद मामला सुर्ख़ियों में आया. सोनी कुमारी के पिता वीरेंद्र मेहता एक 'झोला छाप' डॉक्टर थे. स्थानीय लोगों के मुताबिक़ मरीज़ों का इलाज करने के दौरान वो संक्रमित हो गए थे. इस घटना पर लगातार नज़र बनाये रखनेवाले अररिया की 'मैं मीडिया' नाम की संस्था के रिपोर्टर मेराज ख़ान बताते हैं कि सोनी के पिता की मौत तीन मई को हो गई थी. उसकी 12 साल की एक बहन और 10 साल का एक भाई है.More Related News