बठिंडा मिलिट्री स्टेशन शूटआउटः गवाह देसाई मोहन ही निकला चार जवानों का कातिल, ऐसे खुला राज
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बठिंडा मिलिट्री स्टेशन में हुई फायरिंग की वारदात से पर्दा उठ चुका है और जो कहानी निकलकर सामने आई है, वो बेहद हैरान करने वाली है. आइए इस पूरे मामले को सिलसिलेवार तरीके से समझ लेते हैं.
पंजाब के बठिंडा में मिलिट्री स्टेशन में फायरिंग की घटना में चार जवानों की मौत हो गई थी. मिलिट्री स्टेशन पर हमले की इस वारदात ने सुरक्षा एजेंसियों के होश उड़ाकर रख दिए थे. इस हमले को लेकर कई सवाल उठ रहे थे. मसलन इतने बड़े हमले को कैसे अंजाम दिया गया? सुरक्षा में आखिर इतनी बड़ी सेंधमारी कैसे हुई? कड़ी सुरक्षा के बावजूद हमलावर स्टेशन में दाखिल कैसे हुए? लेकिन अब इस पूरी वारदात से पर्दा उठ चुका है और जो कहानी निकलकर सामने आई है, वो बेहद हैरान करने वाली है. आइए इस पूरे मामले को सिलसिलेवार तरीके से समझ लेते हैं.
12 अप्रैल 2023 - मिलिट्री स्टेशन में गोलीबारी
पंजाब के बठिंडा में मौजूद मिलिट्री स्टेशन में उस रात सन्नाटा पसरा था. अभी दिन निकला भी नहीं था कि अचानक मिलिट्री स्टेशन की मेस में तड़के 4 बजकर 35 मिनट पर गोलियों की आवाज से पूरा स्टेशन गूंज उठा. फायरिंग की आवाज से स्टेशन में मौजूद सभी लोगों की नींद उड़ गई. लेकिन इसी दौरान अंधेरे का फायदा उठाकर हमलावर भागने में कामयाब हो गए. इस गोलीबारी में 4 जवानों की मौत हो गई. सभी मृतक 80 मीडियम रेजिमेंट के थे. वारदात के बाद पूरे स्टेशन में अलर्ट जारी कर दिया गया. पूरे स्टेशन के चारों तरफ पुलिस ने घेरा बना लिया. हमलावर की तलाश शुरू कर दी गई.
हथियार की बरामदगी
छानबीन के दौरान पचा चला कि कुछ हथियार भी स्टेशन से गायब थे. इस बात ने सेना के अधिकारियों की चिंता भी बढ़ा दी. सेना पुलिस और सिविल पुलिस लगातार मामले की जांच कर रहे थे. आर्मी स्टेशन पर बैरिकेडिंग की गई. अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक सुरिंदरपाल सिंह परमार ने कहा कि अब तक की जांच से पता चलता है कि यह सेना का एक आंतरिक मामला है. चोरी किए गए हथियार 5.56 इंसास राइफल कारतूसों के साथ बरामद कर ली गई है. इसके बारे में सेना के अधिकारियों ने आशंका जताते हुए कहा कि बुधवार की तड़के सेना के चार जवानों को मारने में इसी राइफल का इस्तेमाल किया गया था.
चोरी हो गई थी राइफल
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