तालिबान ने अफ़ग़ानिस्तान सरकार को दोहा में शांति समझौते के लिए दी नसीहत- उर्दू प्रेस रिव्यू
BBC
अफ़ग़ान तालिबान और अफ़ग़ानिस्तान सरकार के बीच क़तर की राजधानी दोहा में बातचीत हो रही है. पाकिस्तान के उर्दू अख़बारों ने इसे लेकर विस्तार से रिपोर्ट छापी हैं.
अख़बार एक्सप्रेस के अनुसार क़तर की राजधानी दोहा में अफ़ग़ानिस्तान सरकार और तालिबान के बीच बातचीत हुई जिसमें युद्ध रोकने, तालिबान क़ैदियों की रिहाई और अंतरिम सरकार बनाने पर दोनों पक्षों ने अपनी-अपनी बात रखी. अख़बार के अनुसार किसी भी मामले में कोई सहमति नहीं बन पाई है. इस अवसर पर अफ़ग़ानिस्तान सरकार के प्रतिनिधिमंडल के प्रमुख अब्दुल्लाह अब्दुल्लाह ने कहा कि "हम सब की प्राथमिकता युद्ध की पूरी तरह समाप्ति और सर्वसम्मति से सियासी हल की तलाश होनी चाहिए. हम सब की निगाह संयुक्त भविष्य पर होनी चाहिए जिसके अफ़ग़ान नागरिक हक़दार हैं." तालिबान, रूस और चीन को भरोसे में ले रहा है पर भारत की उपेक्षा क्यों? तालिबान के आने से क्यों डर रहे हैं तुर्कमेनिस्तान, उज़्बेकिस्तान और ताजिकिस्तान इस अवसर पर तालिबान प्रतिनिधि मंडल के नेता अब्दुल ग़नी बिरादर ने कहा कि किसी भी राजनीतिक समझौते तक पहुँचने के लिए सबसे ज़रूरी है कि एक दूसरे पर अविश्वास को ख़त्म किया जाए. उन्होंने कहा, "हमें अपने निजी स्वार्थ को नज़रअंदाज़ कर अफ़ग़ानिस्तान की अवाम की एकता के लिए कोशिश करनी चाहिए."More Related News