डोनाल्ड ट्रंप को अमेरिकी कोर्ट से बड़ा झटका, बर्थराइट सिटिजनशिप खत्म करने के ऑर्डर पर लगाई रोक
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अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के उस आदेश पर कोर्ट ने रोक लगा दी है, जिसमें उन्होंने बर्थराइट सिटिजनशिप को समाप्त करने का आदेश दिया था. यह आदेश अमेरिकी संविधान के 14वें संशोधन का उल्लंघन करता है, और अब इस पर कानूनी लड़ाई का सामना करना पड़ रहा है.
अमेरिका की एक अदालत ने डोनाल्ड ट्रंप को बड़ा झटका दिया है. राष्ट्रपति बनते ही उन्होंने बर्थराइट सिटिजनशिप को समाप्त करने के लिए एक एग्जीक्यूटिव ऑर्डर साइन किया था. अगले महीने तक ऐसे लोगों की अमेरिकी नागरिकता छिनने का डर था, जिनके पास माता-पिता के अमेरिकन न होने के बावजूद जन्म के आधार पर अमेरिका की नागरिकता है. हालांकि, कोर्ट ने ट्रंप के आदेश को स्पष्ट रूप से 'असंवैधानिक' करार दिया.
बर्थराइट सिटिजनशिप पर ट्रंप के फैसले के खिलाफ डेमोक्रेट्स के नेतृत्व वाले चार राज्यों ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. मामले की सुनवाई के बाद यूएस डिस्ट्रिक्ट जज जॉन कॉफनर ने ट्रंप को इस आदेश को लागू करने से रोक दिया. कोर्ट ने एक आदेश में ट्रंप के ऑर्डर पर अस्थायी रूप से रोक लगाई है.
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ट्रंप 20 जनवरी को अपने दूसरे कार्यकाल के लिए अमेरिका के 47वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ ली थी, और तभी उन्होंने बर्थराइट से संबंधित नागरिकता के नियमों को समाप्त करने का आदेश जारी किया था.
डोनाल्ड ट्रंप के आदेश का किसपर पड़ता असर?
डोनाल्ड ट्रंप का आदेश 20 फरवरी से लागू होना था, जब उन लोगों को अपनी नागरिकता से हाथ धोना पड़ता जिनके पास अमेरिका की 'अवैध' नागरिकता है. फेडरल जज का आदेश डेमोक्रेट्स के नेतृत्व वाले राज्यों और सिविल राइट्स ग्रुप्स की याचिका पर आया, जिसमें ट्रंप के कार्यकारी आदेश को चुनौती दी गई थी. डोनाल्ड ट्रंप ने सोमवार को शपथ लेने के बाद अमेरिकी एजेंसियों से ऐसे बच्चों की नागरिकता स्वीकार नहीं करने का आदेश दिया था, जिनके न तो माता और ना ही पिता अमेरिकी नागरिक हों.
अमेरिका में रहते भारतीयों की बात करें तो दो तस्वीरें बनेंगी. एक चमचमाती तस्वीर, जिसमें इंडियन्स का नाम सबसे ज्यादा पढ़े-लिखे इमिग्रेंट्स में आता है. उनकी कमाई भी आम अमेरिकियों से लगभग दोगुनी है. वहीं तस्वीर के दूसरे हिस्से में वे भारतीय हैं, जो चोरी-चुपके यूएस पहुंचे. अब भी न उनके पास दस्तावेज हैं, न ही ढंग की जिंदगी. अब नए राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप उन्हें देश से बाहर का रास्ता दिखा सकते हैं.
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डोनाल्ड ट्रंप ने दोबारा सत्ता में आते ही जन्मजात नागरिकता को समाप्त कर दिया है. इससे अमेरिका में रहकर काम करने वाले उन भारतीयों को झटका लगा है जो वहां अपने बच्चे को जन्म देकर नागरिकता हासिल करना चाहते थे. अब जो भारतीय महिलाएं अपनी प्रेग्नेंसी से सातवें या आठवें महीने में हैं, वो 20 फरवरी को ट्रंप का आदेश लागू होने से पहले सी सेक्शन के जरिए अपने बच्चे को जन्म देना चाहती हैं.
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