ट्विटर की योजनाएं पता लगाने के लिए भारत सरकार ने अपने ‘एजेंट’ कंपनी में रखे थे: पूर्व अधिकारी
The Wire
ट्विटर के पूर्व सुरक्षा प्रमुख ह्विसिलब्लोअर पीटर ज़ैटको ने बीते माह आरोप लगाया था कि भारत सरकार ने ट्विटर को ऐसे विशिष्ट व्यक्तियों को नियुक्त करने के लिए मज़बूर किया जो सरकार के एजेंट थे और जिनकी ट्विटर के वृहद संवेदनशील डेटा तक पहुंच थी. पीटर ने अमेरिकी सीनेट में इन्हीं आरोपों को दोहराया है.
नई दिल्ली: अमेरिकी सीनेट में अपनी गवाही में ह्विसिलब्लोअर पीटर ‘मुज’ जैटको ने मंगलवार को खुलासा किया कि जिस व्यक्ति पर वह बेहद भरोसा करते थे, वह ट्विटर में स्थापित किया गया भारत का ‘विदेशी एजेंट’ था, जिसका काम यह देखना था कि क्या कंपनी भाजपा सरकार की मांगों को मान रही है और साथ ही उसका काम कंपनी की योजनाओं को बेहतर ढंग से समझना था. When Zatko approached an executive about his concern that he believed an agent of the Indian government was working at the company, the executive allegedly told him that since there was already one suspected foreign agent at the company, what did it matter if there are more?
अपने बयान में ट्विटर के पूर्व सुरक्षा प्रमुख ने कहा कि कंपनी ने सुरक्षा को ताक पर रखकर अधिक लाभ कमाने को प्राथमिकता देते हुए अपने इंजीनियरों की उपेक्षा की. — Lauren Feiner (@lauren_feiner) September 13, 2022
जैटको ने कहा कि ट्विटर की सुरक्षा प्रणाली पुरानी है और यह अपने आधे से अधिक डेटा सेंटर सर्वरों पर असुरक्षित सॉफ्टवेयर चलाती है.उन्होंने कहा कि विदेशी खुफिया एजेंसियों द्वारा कई बार इस मंच में सेंध लगाई गई है.
बता दें कि पिछले माह एक सनसनीखेज शिकायत में जैटको ने आरोप लगाया था कि भारत सरकार ने ट्विटर को एक ऐसे व्यक्ति को काम पर रखने के लिए मजबूर किया जो ‘सरकारी एजेंट’ था और संभवत: उसकी पहुंच यूजर्स के संवेदनशील डेटा तक थी.