
चांद पर भारत की नींव रखने वाले डॉक्टर विक्रम साराभाई और मृणालिनी साराभाई की वो प्रेम कहानी
BBC
'भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम के जनक' डॉक्टर विक्रम साराभाई की 101वीं जयंती पर उनके बहुआयामी जीवन को याद कर रहे हैं रेहान फ़ज़ल.
12 अगस्त, 1919 को जब अहमदाबाद के कपड़ा मिल मालिक अंबालाल साराभाई के घर एक लड़का पैदा हुआ तो सबका ध्यान सबसे पहले उसके कानों की तरफ़ गया. वो कान इतने बड़े थे कि जिसने भी देखा उसी ने कहा कि वो गांधीजी के कानों से बहुत मिलते हैं. अंबालाल के करीबी लोगों ने मज़ाक भी किया कि इन कानों को पान की तरह मोड़ कर उसकी गिलोरी बनाई जा सकती है. इस लड़के का नाम विक्रम अंबालाल साराभाई रखा गया. उस समय साराभाई के अहमदाबाद वाले घर में भारत के चोटी के बुद्धिजीवी और वैज्ञानिक जैसे जगदीश चंद्र बसु और सीवी रमण, मशहूर इतिहासकार जदुनाथ सरकार, राजनेता और वकील बुलाभाई देसाई, जानी मानी नृत्यांगना रुक्मणी अरुंदेल और दार्शनिक गुरु जिद्दू कृष्णामूर्ति जैसे लोग ठहरा करते थे. साल 1920 में रविंद्र नाथ टैगोर अहमदाबाद आए थे और साराभाई के घर पर ही रुके थे.More Related News