ग्रेटर नोएडा: बिल्डर ने प्लॉट पर 15 साल तक नहीं बनाया प्रोजेक्ट, अब हुई बड़ी कार्रवाई
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अधिकारी ने बताया कि प्राधिकरण में लीज डीड से 15 वर्ष पूरा होने के बाद किसी तरह की रियायत देने का कोई प्रावधान नहीं है. बिल्डर की तरफ से इस प्लॉट के एवज में जमा कुल धनराशि में से 25 फीसदी की कटौती कर शेष रकम वापस कर दी जाएगी.
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने एसोटेक इंफ्रास्ट्रक्चर को 15 साल पहले सेक्टर पाई में आवंटित ग्रुप हाउसिंग भूखंड का आवंटन निरस्त कर दिया है. बिल्डर ने अभी तक इस प्लॉट पर निर्माण तो दूर, नक्शा भी पास नहीं कराया है. जिसके चलते यह कार्रवाई की गई है. दरअसल, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ व मेरठ मंडलायुक्त सुरेन्द्र सिंह ने सभी विभागों को निर्देश दिए हैं कि जो आवंटी लंबे समय से प्राधिकरण से आवंटित भूखंड लिए बैठे हैं और प्रोजेक्ट नहीं बना रहे हैं, उनके आवंटन को रद्द कर दिया जाए. प्राधिकरण उन भूखंडों को अपने कब्जे में लेकर नई स्कीम के जरिए आवंटित करेगा. प्राधिकरण के बिल्डर विभाग ने इस पर अमल करते हुए एसोटेक इंफ्रास्ट्रक्चर को सेक्टर पाई में आवंटित ग्रुप हाउसिंग भूखंड का आवंटन रद्द कर दिया है.
प्राधिकरण के बिल्डर विभाग के ओएसडी सौम्य श्रीवास्तव ने बताया कि बीआरएस-06 स्कीम के जरिए 2006 में एसोटेक इंफ्रास्ट्रक्चर को सेक्टर पाई में 18141 वर्ग मीटर का प्लॉट (संख्या--07) आवंटित किया गया था. अक्टूबर 2006 में ही बिल्डर ने प्लॉट की लीज डीड कराते हुए कब्जा भी ले लिया. बिल्डर को छह वर्ष में निर्माण कार्य पूर्ण कर अधिभोग प्रमाणपत्र (Occupancy Certificate) लेना था. इस अवधि के बाद प्राधिकरण से निर्धारित शुल्क जमा कराकर कुछ और समय प्राप्त किया जा सकता है, लेकिन बिल्डर ने निर्माण करना तो दूर नक्शा भी पास नहीं कराया और न ही समय वृद्धि के लिए आवेदन किया.
बिल्डर को वापस होगी इतनी रकम
अधिकारी ने बताया कि प्राधिकरण में लीज डीड से 15 वर्ष पूरा होने के बाद किसी तरह की रियायत देने का कोई प्रावधान नहीं है. बिल्डर की तरफ से इस प्लॉट के एवज में जमा कुल धनराशि में से 25 फीसदी की कटौती कर शेष रकम वापस कर दी जाएगी. जमीन को जल्द ही प्राधिकरण अपने कब्जे में लेगा. बिल्डर ने इस प्रोजेक्ट में किसी फ्लैट खरीदार की बुकिंग किए जाने की जानकारी भी प्राधिकरण को नहीं दी है.
'प्राधिकरण नए सिरे से आवंटन करेगा'
वहीं ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के सीईओ सुरेंद्र सिंह ने कहा कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण से प्लॉट आवंटित कराने के बाद तय समय में प्रोजेक्ट पूरा न करने वाले किसी भी आवंटी को बख्शा नहीं जाएगा. उसके खिलाफ इसी तरह की कार्रवाई की जाएगी, वह चाहे बिल्डर हो, उद्यमी या फिर कोई और हो. ऐसे आवंटियों से जमीन वापस लेकर प्राधिकरण नए सिरे से आवंटन करेगा, ताकि उन पर प्रोजेक्ट बन सकें.
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