को-लोकेशन मामले में एनएसई की पूर्व प्रबंध निदेशक रामकृष्ण सात दिन की सीबीआई हिरासत में
The Wire
देश के सबसे बड़े स्टॉक एक्सचेंज एनएसई द्वारा प्रदान की जाने वाली को-लोकेशन सुविधा में ब्रोकर अपने सर्वर को स्टॉक एक्सचेंज परिसर के भीतर रख सकते हैं, जिससे उनकी बाज़ारों तक तेज़ी से पहुंच हो सके. यह आरोप लगाया गया है कि कुछ ब्रोकर ने अंदरूनी सूत्रों की मिलीभगत से एल्गोरिदम और को-लोकेशन सुविधा का दुरुपयोग करके अप्रत्याशित लाभ कमाया है.
विशेष न्यायाधीश संजीव अग्रवाल ने सीबीआई और आरोपियों की ओर से पेश वकीलों की दलीलें सुनने के बाद यह आदेश पारित किया.
जांच एजेंसी ने उनसे पूछताछ के लिए 14 दिन की हिरासत की मांग की थी.
सीबीआई ने आरोपी को रविवार को गिरफ्तार किया था जब शनिवार को अदालत ने उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी. सीबीआई ने हाल में मामले में रामकृष्ण से पूछताछ की थी. इससे पहले आयकर विभाग ने मुंबई और चेन्नई में रामकृष्ण से जुड़े विभिन्न परिसरों पर छापेमारी की थी.
एनएसई द्वारा प्रदान की जाने वाली को-लोकेशन सुविधा में, ब्रोकर अपने सर्वर को स्टॉक एक्सचेंज परिसर के भीतर रख सकते हैं, जिससे उनकी बाजारों तक तेजी से पहुंच हो सके.