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कोरोना वैक्सीन पॉलिसी पर केंद्र का भूल सुधार, फिर भी अपनी जय-जयकार
The Quint
modi vaccine:कोरोना वैक्सीन पॉलिसी पर भूल सुधार, फिर भी अपनी जय-जयकार सुप्रीम कोर्ट के फटकार के बाद राज्य की जगह केंद्र सरकार करेगी खरीद ,modi government u turn on vaccine policy centre will procure instead of state supreme court
प्रधानमंत्री मोदी ने वैक्सीन को लेकर बड़े ऐलान किए हैं. 21 जून से सबको मुफ्त कोरोना टीका मिलेगा. टीके केंद्र सरकार खरीदेगी, राज्य सरकारें लगाएंगी. जो पैसा देकर टीका लगवाना चाहते हैं वो निजी अस्पतालों में जा सकते हैं. पीएम मोदी जब ये बड़े ऐलान कर रहे थे तो उन्होंने ये जताने की कोशिश की कि राज्यों ने काम बिगाड़ा था, केंद्र सरकार ठीक कर रही है. ऐसा जताने की कोशिश करना बड़ी त्रासदी है.1 मई को केंद्र ने पॉलिसी बनाई कि अब 45 से ऊपर लोगों के लिए केंद्र सरकार मुफ्त की वैक्सीन भेजती रहेगी और 18-44 साल के लोगों के लिए राज्य और निजी अस्पताल खुद से वैक्सीन का इंतजाम करेंगे और कीमत चुकाएंगे. 7 जून को पीएम मोदी ने अपने भाषण में कहा कि ऐसा इसलिए किया गया था क्योंकि कई राज्यों ने मांग की थी. राज्यों ने वैक्सीन की कमी की शिकायत जरूर की थी, लेकिन किसी राज्य ने खुद वैक्सीन खरीदने की इच्छा जताई हो, ऐसी जानकारी नहीं है.अब केंद्र वैक्सीन खरीदने का काम अपने पास वापस क्यों ले रहा है? पीएम ने कहा - जब 25% वैक्सीन का इंतजाम करने की जिम्मेदारी राज्यों को मिली, तब उन्हें पता चला कि क्या चुनौतियां और इसलिए अब वो कह रहे हैं कि पहले वाली स्थिति ही सही थी.कमाल है, ये लोगों की जान बचाने लिए वैक्सीन पॉलिसी बनाई जा रही है या फिर सरकार 'इसने कहा तो ये कर दिया, उसने कहा तो वो कर दिया' खेल रही है. मतलब कुछ 'नासमझों' के कहने पर करोड़ों देशवासियों को मुसीबत में डाल दिया गया.हकीकत ये है कि पहले दिन से इस वैक्सीन पॉलिसी को लेकर सवाल उठ रहे थे. विपक्ष की छोड़िए. स्वत: संज्ञान लेकर सुप्रीम कोर्ट में डी.वाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय बेंच ने 31 मई को कहा "18 से 44 साल के लोगों के लिए वैक्सीन का इंतजाम राज्यों को देने की नीति मनमानी और तर्कहीन है.केंद्र सरकार की दलील है कि उसे कम कीमत पर वैक्सीन इसलिए मिल रही है क्योंकि वो थोक में खरीद रही है, इस तर्क से वो खुद 100% वैक्सीन क्यों नहीं खरीदती? "केंद्र सरकार के पास वैक्सीन खरीदने के लिए 35 हजार करोड़ का बजट है जबकि राज्यों पर वैक्सीन खरीदने के लिए फंड जुटाने का भार अचानक डाल दिया गया है. यह विशेष रूप से वित्तीय संकट से पीड़ित राज्यों/UTs पर गंभीर आर्थिक बोझ डाल सकता है. केंद्र सरकार को यह स्पष्ट करने का निर्देश दिया जा...More Related News