
एस जयशंकर ने UNSC के ओपेन डिबेट की अध्यक्षता की, खतरों से निपटने के लिए ठोस खुफिया ढांचे का आह्वान किया
ABP News
UNSC Open Debate: विदेश मंत्री एस जयशंकर ने यूएन में टेक्नॉलजी एंड पीसमेकिंग पर यूएनएससी की खुली बहस की अध्यक्षता की जिसका विषय 'रक्षकों की रक्षा' रहा. यूएन महासचिव एंतोनियो गुतारेस भी मौजूद रहे.
UNSC Open Debate: भारत ने संयुक्त राष्ट्र में बुधवार को शांति रक्षकों के 'समकालीन खतरों' से मुकाबले और सुरक्षा के लिए ठोस सूचना और खुफिया ढांचे का आह्वान किया. साथ ही इस बात पर जोर दिया कि संयुक्त राष्ट्र शांति स्थापना मिशन शांति की संभावनाओं को कम करने वाले तत्वों को आधुनिक प्रौद्योगिकी के उपयोग का लाभ उठाने का जोखिम बर्दाश्त नहीं कर सकते. विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बुधवार को कहा कि संयुक्त राष्ट्र शांति स्थापना मिशन का कार्य विभिन्न चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में भी जारी है जिसमें आतंकवादी, सशस्त्र समूहों और राज्य-विरोध तत्वों से मुकाबला शामिल है. साथ ही उन्होंने शांति सैनिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए क्षमताओं को मजबूती देने की आवश्यकता पर बल दिया. विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र में प्रौद्योगिकी एवं शांति स्थापना पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की खुली बहस की अध्यक्षता की जिसका विषय 'रक्षकों की रक्षा' रहा. इस दौरान संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस भी मौजूद रहे. अपने संबोधन के दौरान जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र शांति सैनिकों की सुरक्षा में प्रौद्योगिकी की भूमिका को रेखांकित किया और शांति बनाए रखने में उनकी भूमिका पर प्रकाश डाला. उन्होंने कहा, ' 21वीं सदी की शांति स्थापना को प्रौद्योगिकी और नवाचार के एक मजबूत पारिस्थितिकी तंत्र से लैस होना चाहिए ताकि जटिल वातावरण में भी संयुक्त राष्ट्र के शांति अभियानों को मजबूती मिल सके.' इस अवसर पर संयुक्त राष्ट्र के सहयोग के साथ भारत ने चुनिंदा शांति स्थापना मिशनों में 'यूनाइट अवेयर' प्रौद्योगिकी मंच के क्रियान्वयन की घोषणा की.More Related News