एक साल में 11 चुनाव... बीजेपी ने 6 बार तो कांग्रेस ने एक बार भी नहीं बताया CM कैंडिडेट
AajTak
देश की दो सबसे बड़ी पार्टियों, बीजेपी और कांग्रेस को बार-बार इस दुविधा का सामना करना पड़ता है कि चुनाव से पहले सीएम फेस की घोषणा की जाए या नहीं. बीते एक साल में 11 राज्यों में चुनाव हुए हैं, इनमें बीेजेपी ने पांच बार सीएम फेस का ऐलान किया तो कांग्रेस ने एक भी बार अपना उम्मीदवार नहीं बताया.
इस साल के आखिर में पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं, लेकिन राजनीतिक दलों ने अपने मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवारों का खुलासा नहीं किया है. दरअसल रणनीति के बिना कोई दल चुनाव में नहीं उतरता है. इसी रणनीति का एक हिस्सा होता है- सीएम फेस का ऐलान करना. देश की दो सबसे बड़ी पार्टियों, बीजेपी और कांग्रेस को बार-बार इस दुविधा का सामना करना पड़ता है कि चुनाव से पहले सीएम फेस की घोषणा की जाए या नहीं.
इस दुविधा का एक बड़ा कारण हर पार्टी में सीएम पद की इच्छा रखने वाले कई उम्मीदवारों का होना है. अगर किसी दल ने ऐसे में उम्मीदवार की घोषणा कर दी तो पार्टी के अंदर बवाल भी हो सकता है, जिससे फूट जैसी स्थिति भी पैदा हो सकती है. यह जनता के बीच नकारात्मक छवि पेश कर सकता है.
2024 के लोकसभा चुनाव से पहले इस साल नवंबर-दिसंबर में पांच महत्वपूर्ण राज्यों के विधानसभा चुनाव होने हैं. इन हिंदी पट्टी के राज्यों मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में बीजेपी और कांग्रेस के बीच सीधी लड़ाई है. इन तीन राज्यों में से राजस्थान और छत्तीसगढ़ में कांग्रेस और मध्य प्रदेश में बीजेपी सत्ता में है.
हाल ही में कांग्रेस के दिग्गज नेता कमलनाथ ने बीजेपी को मध्य प्रदेश के लिए अपना मुख्यमंत्री पद का चेहरा घोषित करने की चुनौती दी थी. उन्होंने पूछा था कि भगवा पार्टी अपने सीएम उम्मीदवार की घोषणा क्यों नहीं कर रही है?
अमित शाह ने भोपाल में कहा कि मौजूदा समय में शिवराज सिंह चौहान पार्टी के मुख्यमंत्री हैं. आगे क्या होगा यह पार्टी तय करेगी. उन्होंने पत्रकार से कहा कि आप हमारी पार्टी का काम क्यों करने लगे? यही हमारी पार्टी का काम है. यह देखा गया है कि दोनों प्रमुख दल, भाजपा और कांग्रेस, राज्यों में विधानसभा चुनावों से पहले मुख्यमंत्री पद का चेहरा पेश करने से बचते हैं.
कांग्रेस की परंपरा को देखें तो आमतौर पर वो ऐसे राज्य में सीएम उम्मीदवार की घोषणा नहीं करती है जहां सत्ता में नहीं होती है. अब तक 2022 और 2023 में 11 विधानसभा चुनाव हो चुके हैं, जहां कांग्रेस ने चुनाव से पहले कोई सीएम उम्मीदवार पेश नहीं किया.
कजाकिस्तान में अजरबैजान एयरलाइंस का विमान पक्षी की टक्कर के बाद क्रैश हो गया, जिसमें 42 लोग मारे गए. विमान ने करीब एक घंटे तक लैंडिंग की कोशिश की लेकिन पायलट इसमें विफल रहे. इस बीच जीपीएस में गड़बड़ी की बात भी सामने आ रही है, लेकिन अभी स्पष्ट वजह सामने नहीं आई है. खासकर ग्रोज्नी के पास जीपीएस जैमिंग का संदेह है.
अजरबैजान एयरलाइंस का एम्ब्रेयर E190AR विमान बाकू से रूस के चेचन्या जा रहा था. विमान में 67 लोग सवार थे, जिनमें से 42 लोगों की मौत हो गई. इस घटना में 25 लोग बचने में सफल रहे. स्थानीय अधिकारियों और घटनास्थल से प्राप्त वीडियो के मुताबिक, कैस्पियन सागर तट पर कजाकिस्तान के अक्तौ शहर के पास हुए विमान हादसे में पहले बचावकर्मियों की तत्परता से कई लोगों को बचा लिया गया.