
ऋषिकेश-नैनीताल में भी जोशीमठ जैसी आफत की आहट... भारत के दो महानगरों के भी धंसने का खतरा
AajTak
जोशीमठ अकेला नहीं है जो धंसने की कगार पर है. भारत और दुनिया में और कई ऐसे शहर हैं जो तेजी से पाताल में समाते जा रहे हैं. ये भी हो सकता है कि साल 2100 तक इनमें से कुछ शहर बचे ही नहीं. जमीन फट जाए और ये उसमें समा जाएं या फिर समुद्र इन्हें लील ले.
सिर्फ जोशीमठ की जमीन नहीं दरक रही है. सिर्फ उसी की दीवारों पर दरारें नहीं पड़ रही हैं. जोशीमठ जैसे उत्तराखंड में और भी शहर हैं जो दरारों के दर्द से परेशान हैं. ऋषिकेष, नैनीताल, मसूरी, टिहरी गढ़वाल, कर्णप्रयाग, रुद्रप्रयाग और अल्मोड़ा में भी घरों में दरारें देखी गई हैं. यानी उत्तराखंड के एक बड़े हिस्से में ये डरावनी दरारें और डरा रही हैं. इन शहरों या उनके कुछ हिस्सों के धंसने की शुरुआत हो चुकी है. इनके अलावा देश के दो महानगरों को भी यह खतरा है.
ऐसा नहीं है कि सिर्फ भारत के उत्तराखंड में जमीन धंसने का मामला सामने आ रहा है. दुनिया में सिर्फ जोशीमठ नहीं है जो धंस रहा है. धंसने की प्रक्रिया दुनिया के 36 और शहरों में हो रहा है. इसमें भारत के तटीय शहर मुंबई और कोलकाता भी हैं. असल में जमीन धंसने (Land Subsidence) को लेकर दो प्रक्रियाएं होती हैं. पहली जोशीमठ की तरह पहाड़ों की मिट्टी अंदर से खोखली हो जाए. तो वह शहर ऊपर से नीचे की ओर आ गिरे. दूसरा किसी भी शहर या तटीय इलाके में बसे शहर से इतना पानी बोरिंग से निकाला जाए कि जमीन अंदर से खोखली हो जाए. तो वह धंस सकती है.
पहले बात करते है उत्तराखंड के शहरों की. कर्णप्रयाग के बहुगुणा नगर और आईटीआई कॉलोनी इलाकों में दो दर्जन से ज्यादा घरों में बड़ी दरारें आई हैं. ऋषिकेश के अटाली गांव के करीब 85 घरों में दरारें आई हैं. स्थानीय लोग ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन को इसका दोषी मानते हैं. टिहरी गढ़वाल के छोटे से कस्बे चंबा में भी मकानों में दरारें देखने को मिली हैं. ये घर टनल परियोजना के पास हैं, जिससे उनके घरों में दरारें आई हैं.
ये भी पढ़ेंः उजड़ता जोशीमठ... पूरी कहानी
मसूरी के लंडौर बाजार में सड़क का एक हिस्सा धीरे-धीरे धंस रहा है. दरार भी पड़ी है जो लगातार बढ़ रही है. करीब एक दर्जन दुकानें और 500 लोग इससे प्रभावित हो रहे हैं. ये लोग रिस्क जोन में रह रहे हैं. साल 2018 में नैनीताल के लोअर मॉल रोड की सड़क का एक हिस्सा धंस कर नैनी झील में चला गया था. पैचवर्क हुआ लेकिन फिर से दरारें दिखने लगी हैं. नैनीताल में तो यह स्थिति बहुत ही ज्यादा खराब है. रुद्रप्रयाग के अगस्त्यमुनि ब्लॉक में मौजूद झालीमठ बस्ती में एक दर्जन परिवारों को विस्थापित होना पड़ा क्योंकि उनके घरों में दरारें आ गई थीं.
केदारनाथ का गेटवे कहा जाने वाला कस्बा गुप्तकाशी का भी कुछ हिस्सा धंस रहा है. अल्मोड़ा के विवेकानंद पर्वतीय एग्रीकल्चर रिसर्च इंस्टीट्यूट के पास भी जमीन धंसने की खबरें आई हैं. इस चक्कर में इंस्टीट्यूट की एक इमारत गिर भी चुकी है. पहले जानते हैं कि आखिर जमीन धंसने की प्रक्रिया क्या होती है? क्या सच में कोई शहर इस तरह से पाताल में समा सकता है? क्या सच में जमीन फटती है और उसमें शहर धंस जाते हैं.

दिल्ली में बीजेपी की नई सरकार ने कार्यभार संभाल लिया है. मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता और उनकी कैबिनेट ने यमुना आरती में शामिल होकर अपने कार्यकाल की शुरुआत की. यमुना सफाई बीजेपी का प्रमुख वादा रहा है. आज शाम पहली कैबिनेट बैठक में कई बड़े फैसले लिए जा सकते हैं, जिसमें महिलाओं को 2500 रुपये देने और आयुष्मान योजना लागू करने जैसे मुद्दे शामिल हैं. विपक्ष ने सरकार से वादे पूरे करने की मांग की है. यमुना सफाई, प्रदूषण नियंत्रण और विकास कार्य नई सरकार के लिए बड़ी चुनौतियां होंगी. विपक्ष ने गंगा सफाई के वादों को लेकर भी सवाल खड़े किए हैं.

जम्मू-कश्मीर के कटरा में भारी बर्फबारी और बारिश के बाद त्रिकुटा पर्वत स्थित माता वैष्णो देवी भवन तक जाने वाली हेलिकॉप्टर सेवा को सुबह ही निलंबित कर दिया गया है. साथ ही, भवन से भैरो मंदिर तक की रोपवे सेवा भी एहतियातन बंद कर दी गई है. हालांकि, इसके बावजूद श्रद्धालुओं की यात्रा बिना किसी रुकावट के जारी है.

बीजेपी की रेखा गुप्ता ने आज दिल्ली की मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली. इसके तुरंत बाद वह एक्शन मोड में आ गई हैं. यमुना की सफाई को लेकर दिल्ली की नई सीएम ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं. राहुल गांधी ने अपने संसदीय क्षेत्र रायबरेली में एक छात्रावास में दलित छात्रों से बातचीत में कहा कि अगर मायावती इंडिया ब्लॉक में शामिल हो जातीं, तो 2024 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी की सरकार नहीं बनती.

Brajesh Pathak on Rekha Gupta: 'विकसित दिल्ली का सपना रेखा गुप्ता पूरा करेंगी', बोले UP के डिप्टी CM
दिल्ली में भारतीय जनता पार्टी की ऐतिहासिक जीत के बाद आज शपथग्रहण हुआ. इस पर तमाम नेताओं ने अपनी प्रतिक्रिया दी है. इस मौके पर UP के डिप्टी CM ने कहा कि 27 साल के लंबे अंतराल के बाद भाजपा ने दिल्ली में सत्ता हासिल की है. पाठक ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व और रेखा गुप्ता के मार्गदर्शन में विकसित दिल्ली का सपना साकार होने की उम्मीद जताई गई है. देखिए.