उत्तराखंड ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट में हुए 3.54 लाख करोड़ के एमओयू, मुख्यमंत्री ने की समीक्षा
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उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि निवेश के लिए हुए एमओयू को धरातल पर उतारना सभी की सामूहिक जिम्मेदारी है. उन्होंने मंगलवार को सचिवालय में शासन के उच्चाधिकारियों के साथ उत्तराखंड ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट में हुए एमओयू के ग्राउंडिंग की समीक्षा की.
उत्तराखंड इंवेस्टर्स समिट में विभिन्न विभागों से संबंधित 3.56 लाख करोड़ के 1,779 एमओयू हुए हैं. इनमें ऊर्जा के क्षेत्र में 1.03 लाख करोड़ रुपये के 157 तथा उद्योग विभाग से संबंधित 78 हजार करोड़ के 658, पर्यटन के क्षेत्र में 47,646 करोड़ के 437, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण के क्षेत्र में 19,260 करोड़ के 175, आवास एवं नगर विकास के क्षेत्र में 41,947 करोड़ के 62, स्वास्थ्य एवं पर्यावरण के क्षेत्र में 25,785 करोड़ के 39, आयुष एवं वेलनेस के क्षेत्र में 17,058 करोड़ के 77 करार शामिल हैं.
राज्य में निवेशकों की सुविधा के लिए उत्तराखंड सोसाइटी फॉर प्रमोशन ऑफ इन्वेस्टमेंट, स्टार्ट अप एंड एंटरप्रेन्योरशिप का गठन किया जा रहा है. मुख्यमंत्री ने कहा कि निवेश के लिए हुए एमओयू को धरातल पर उतारना सभी की सामूहिक जिम्मेदारी है. उन्होंने उच्चाधिकारियों के साथ समीक्षा की और उनसे सुझाव भी लिए तथा निर्देश दिए कि 15 फरवरी तक अधिक से अधिक प्रस्तावों की ग्राउंडिंग हो.
हर सप्ताह मुख्य सचिव तथा प्रतिमाह मुख्यमंत्री स्वयं इसकी गहनता से समीक्षा करेंगे. सीएम धामी ने कहा कि निवेश प्रस्तावों में इकोलॉजी तथा इकोनॉमी के समन्वय के साथ युवाओं को अधिक से अधिक रोजगार उपलब्ध कराना हमारा लक्ष्य होना चाहिए.
पीएम मोदी फिर कर गए उत्तराखंड की ब्रांडिंग
मुख्यमंत्री ने इंवेस्टर्स समिट के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दिए गए निर्देशों का भी अनुपालन सुनिश्चित करने के निर्देश अधिकारियों को दिए. मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट के लिए हम सबके प्रयासों को हर क्षेत्र में सराहा गया है. अब हम सबका दायित्व है कि इन्हें राज्य हित में जमीनी हकीकत में बदला जाए. उन्होंने सभी के सुझावों को ताकत बताकर इसे अवसर में बदलने की भी अपेक्षा की. उन्होंने राज्य हित से जुड़े जरूरी प्रस्तावों को प्राथमिकता देने की भी बात कही.
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के निर्देशों के क्रम में देहरादून पंतनगर हवाई अड्डों के विस्तार, ऋषिकेश अथवा किसी अन्य उपयुक्त स्थान पर कन्वेंशन सेंटर के निर्माण की दिशा में भी तेजी के कार्य किए जाएं. मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि सभी विभागीय अधिकारी यह भी सुनिश्चित करें कि पहाड़ों के विकास के लिए प्राप्त निवेश प्रस्तावों से क्या बेहतर किया जा सकता है. युवाओं को अधिक से अधिक रोजगार के अवसर उपलब्ध हों, इसके लिए रोजगार सृजन पर भी फोकस किया जाए.
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