
आईटी नियम ‘प्रेस स्वतंत्रता की स्वतंत्रता का गंभीर रूप से उल्लंघन’ करेंगे: इंटरनेट कोअलिशन
The Wire
एशिया इंटरनेट कोअलिशन के अलावा इंडियन न्यूजपेपर सोसाइटी और एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया सहित विभिन्न प्रेस निकायों ने कानून और स्वतंत्र प्रेस पर इसके प्रभाव पर गहरी चिंता व्यक्त की है. इनकी ओर से कहा गया था कि आईटी नियम सरकार या उसकी नामित एजेंसी को कोई ख़बर फ़र्जी है या नहीं, यह निर्धारित करने के लिए ‘पूर्ण’ और ‘मनमानी’ शक्ति प्रदान करेंगे.
नई दिल्ली: एशिया इंटरनेट कोअलिशन ने कहा है कि केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा पेश किए गए नए आईटी नियम ‘प्रेस की स्वतंत्रता का गंभीर रूप से उल्लंघन करेंगे.’ Managing Director, Jeff Paine speaks with Craig Mellow to discuss how the regulatory environment in India may hamper investment.#India #Itrules #NarendraModi https://t.co/UBjwG7Z5BS
इस कोअलिशन में गूगल, मेटा, एप्पल और अमेज़ॉन जैसी कंपनियां शामिल हैं. — Asia Internet Coalition (AIC) (@asia_aic) April 21, 2023
आईटी नियमों में संशोधन बीते छह अप्रैल को औपचारिक रूप से लाया गया था, जो सरकार द्वारा स्थापित ‘फैक्ट चेक इकाई’ को ‘केंद्र सरकार के किसी भी व्यवसाय’ के संबंध में किसी भी ‘नकली या झूठे या भ्रामक’ सामग्री को हटाने की अनुमति देता है.
नई सूचना प्रौद्योगिकी (मध्यस्थ दिशानिर्देश और डिजिटल मीडिया आचार संहिता) संशोधन नियम, 2023 (आईटी नियम) ऑनलाइन सूचनाओं और उन्हें इंटरनेट से हटाने की सरकार की शक्तियों से संबंधित है.