अमित शाह के हिंदी पर ज़ोर दिए जाने को विपक्ष ने देश के बहुलवाद पर हमला बताया
The Wire
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने संसदीय राजभाषा समिति की बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा था कि अन्य भाषा वाले राज्यों के नागरिकों को आपस में हिंदी में संवाद करना चाहिए. विपक्ष ने सत्तारूढ़ भाजपा पर ग़ैर-हिंदी भाषी राज्यों के ख़िलाफ़ ‘सांस्कृतिक आतंकवाद’ के अपने एजेंडे को शुरू करने की कोशिश करने का आरोप लगाया है.
नई दिल्ली/चेन्नई/कोलकाता: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह द्वारा हिंदी भाषा पर जोर दिए जाने की शुक्रवार को तीखी आलोचना की गई और विपक्षी दलों ने इसे भारत के बहुलवाद पर हमला बताया और कहा कि वे हिंदी थोपने के कदम को विफल करेंगे. Hindi is Raj Bhasha not Rashtra Bhasha,as Rajnath Singh said in Parliament when he was HM. Hindi imperialism will be the death knell for India. Im very comfortable with Hindi, but I don’t want it rammed down anybody's throat.Amit Shah is doing a disservice to Hindi by imposing it "ஆங்கிலத்துக்குப் பதிலாக இந்தியைப் பயன்படுத்துங்கள்" என்று ஒன்றிய உள்துறை அமைச்சர் @AmitShah சொல்வது இந்தியாவின் ஒருமைப்பாட்டுக்கு வேட்டு வைக்கும் செயல்!
मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने शाह पर हिंदी थोपने का प्रयास करने का आरोप लगाया और कहा कि ऐसा करके वह भाषा का नुकसान कर रहे हैं. — Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) April 8, 2022 இந்தியாவின் பன்முகத்தன்மையைப் பழுதாக்கும் வேலையை பாஜக தலைமை தொடர்ந்து செய்கிறது. (1/2)#StopHindiImposition
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि हिंदी ‘राजभाषा’ है, न कि ‘राष्ट्रभाषा’ जैसा कि राजनाथ सिंह ने संसद में तब कहा था, जब वह गृह मंत्री थे. — M.K.Stalin (@mkstalin) April 8, 2022