हिमालय में धधक रही आग से क्यों चिंतित हैं दुनिया के वैज्ञानिक
BBC
पर्यावरण कार्यकर्ताओं का कहना है कि भारत और नेपाल के अधिकारी जंगल में भड़क रही आग से निबटने के लिए तैयार नहीं हैं.
नैनीताल की नैनी झील के पीछे दिखने वाले हरे-भरे पहाड़ उत्तराखंड के इस शहर को और ख़ूबसूरत बना देते हैं. लेकिन पिछले कुछ दिनों से जंगल की आग से उठ रहे धुएं ने पहाड़ों को छुपा लिया है और अब झील की वो सुंदरता पहले जैसी नहीं है. इस क्षेत्र में जंगलों के इतिहास के विशेषज्ञ प्रोफ़ेसर शेखर पाठक कहते हैं, 'मैं झील के जिस तरफ़ रहता हूं वहां से आप इस धुएं की गंध को सूंघ सकते हैं.' वो कहते हैं, "ना सिर्फ़ देवदार के पेड़ जो बहुत जल्दी आग पकड़ते हैं, जल रहे हैं बल्कि ओक (शाह बलूत) के पेड़ भी जल रहे हैं जिसका मतलब ये है कि हालात बहुत गंभीर हैं." जंगल की आग से सबसे ज़्यादा प्रभावित इलाक़े में रहने वाले लोगों ने बीबीसी को बताया है कि वो रातों को सो नहीं पा रहे हैं. पिथौरागढ़ ज़िले के बन्ना गांव के रहने वाले केदार अवनी कहते हैं, "हम आधी रात में जागते हैं और आसपास के जंगल में जाकर देखते हैं कि कहीं आग हमारे घरों तक तो नहीं पहुंचने वाली है."More Related News