दलबदलू उम्मीदवारों पर सरकार ले फैसला, निर्वाचन आयोग ने सुप्रीम कोर्ट में दाखिल किया हलफनामा
AajTak
दरअसल, जया ठाकुर द्वारा भारतीय संविधान की संविधान के अनुच्छेद 191(1)(ई) और दसवीं अनुसूची का उल्लंघन करने पर विधायकों और सांसदों को पांच साल तक चुनाव लड़ने पर रोक लगाने की मांग की है. दरअसल कांग्रेस नेता जया ठाकुर ने उन सांसद/ विधायकों के चुनाव लडने पर पांच साल तक पाबंदी लगाने की मांग की है
दलबदल कानून के उल्लंघन की वजह से अयोग्य ठहराए गए सांसदों और विधायकों को 5 साल के लिए चुनाव लड़ने से रोकने के मामले पर निर्वाचन आयोग ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल किया है. आयोग ने कहा कि फिलहाल आयोग के पास ये कार्यपालक अधिकार नहीं है कि वो उनको अयोग्य ठहराने की कार्रवाई करे.
निर्वाचन आयोग ने अपने हलफनामे में कहा है कि केंद्र सरकार इस मामले निर्णय ले सकती है. वहीं इस मामले में शामिल मुद्दा संविधान के अनुच्छेद 191(1)(ई) की व्याख्या से संबंधित है. इसका अनुच्छेद 324 के तहत चुनाव आयोग के कार्यक्षेत्र और चुनाव के संचालन से कोई संबंध नहीं है. चुनाव आयोग ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 324 के तहत चुनाव आयोग वह निकाय है जो संसद, राज्य विधान मंडलों और राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति के कार्यालयों के चुनावों के संचालन का निर्देशन और नियंत्रण करता है.
दरअसल, जया ठाकुर द्वारा भारतीय संविधान की संविधान के अनुच्छेद 191(1)(ई) और दसवीं अनुसूची का उल्लंघन करने पर विधायकों और सांसदों को पांच साल तक चुनाव लड़ने पर रोक लगाने की मांग की है. दरअसल कांग्रेस नेता जया ठाकुर ने उन सांसद/ विधायकों के चुनाव लडने पर पांच साल तक पाबंदी लगाने की मांग की है जो चुनाव जीतने के बाद पार्टी से इस्तीफा देकर सीट खाली कर देते हैं या फिर उपचुनाव मे दूसरी पार्टी के प्रत्याशी बन जाते हैं.
सबसे ज्यादा हैरान करने वाली बात यह रही कि खींवसर को तीन क्षेत्रों में बांटकर देखा जाता है और थली क्षेत्र को हनुमान बेनीवाल का गढ़ कहा जाता है. इसी थली क्षेत्र में कनिका बेनीवाल इस बार पीछे रह गईं और यही उनकी हार की बड़ी वजह बनी. आरएलपी से चुनाव भले ही कनिका बेनीवाल लड़ रही थीं लेकिन चेहरा हनुमान बेनीवाल ही थे.
देश का सबसे तेज न्यूज चैनल 'आजतक' राजधानी के मेजर ध्यानचंद नेशनल स्टेडियम में तीन दिवसीय 'साहित्य आजतक' महोत्सव आयोजित कर रहा है. इसी कार्यक्रम में ये पुरस्कार दिए गए. समारोह में वरिष्ठ लेखकों और उदीयमान प्रतिभाओं को उनकी कृतियों पर अन्य 7 श्रेणियों में 'आजतक साहित्य जागृति सम्मान' से सम्मानित किया गया.
आज शाम की ताजा खबर (Aaj Ki Taza Khabar), 23 नवंबर 2024 की खबरें और समाचार: खबरों के लिहाज से शनिवार का दिन काफी अहम रहा है. महाराष्ट्र में नतीजे आने के बाद सूत्रों की मानें तो एकनाथ शिंदे ने मुख्यमंत्री पर पर अपना दावा ठोका है. सीएम योगी ने यूपी उपचुनाव के नतीजों को पीएम मोदी के नेतृत्व की जीत बताया है.
हिंदी साहित्य के विमर्श के दौरान आने वाले संकट और चुनौतियों को समझने और जानने की कोशिश की जाती है. हिंदी साहित्य में बड़े मामले, संकट और चुनने वाली चुनौतियाँ इन विमर्शों में निकली हैं. महत्वपूर्ण विचारकों और बुद्धिजीवियों ने अपने विचार व्यक्त किए हैं. हिंदी साहित्यकार चन्द्रकला त्रिपाठी ने कहा कि आज का विकास संवेदन की कमी से ज्यादा नजर आ रहा है. उन्होंने कहा कि व्यक्ति प्रेम के लिए वस्तुओं की तरफ झूक रहा है, लेकिन व्यक्ति के प्रति संवेदना दिखाता कम है. त्रिपाठी ने साहित्यकारों के सामने मौजूद बड़े संकट की चर्चा की. ये सभी महत्वपूर्ण छोटी-बड़ी बातों का केंद्र बनती हैं जो हमें सोचने पर मजबूर करती हैं.