ईंट-भट्ठे पर काम करने को मजबूर झारखंड की अंतर्राष्ट्रीय फुटबॉलर संगीता कुमारी को मिलेगी आर्थिक मदद
ABP News
संगीता पिछले तीन सालों से एक अदद नौकरी के लिए संघर्षरत हैं, लेकिन उनको आज तक उनका हक नहीं मिला. पिछले साल भी उनकी हालत को लेकर सोशल मीडिया में कुछ लोगों ने सीएम को ट्वीट किया था.
झारखंड के खिलाड़ियों की दुर्दशा की कहानी लॉकडाउन में लगातार उभर कर सामने आ रही है. पिछले एक साल के इस कोविड काल में मीडिया के माध्यम से राष्ट्रीय-अंतर्राष्ट्रीय खिलाड़ियों को सब्जी बेचते देखने से लेकर तमाम झंझावातों से गुजरते लोगों ने देखा. पहले से ही झारखंड में एक व्यापक खेल नीति के अभाव में खिलाडियों की दुर्दशा जगजाहिर है, उस पर कोरोना काल में तो हालात इस कदर खराब हुए हैं कि घर चलाने के लिए धनबाद की अंतर्राष्ट्रीय फुटबॉलर संगीता कुमारी को अपनी मां के साथ ईंट भट्टा में काम करना पड़ रहा है. पहले भाई मजदूरी कर किसी तरह घर चलाता था, लेकिन लॉकडाउन में काम धंधा बंद होने से वह भी बेरोज़गार हो गया है. संगीता पिछले तीन सालों से एक अदद नौकरी के लिए संघर्षरत हैं, लेकिन उनको आज तक उनका हक नहीं मिला. पिछले साल भी उनकी हालत को लेकर सोशल मीडिया में कुछ लोगों ने सीएम को ट्वीट किया था, जिस पर आदेश भी आया लेकिन कोई ठोस पहल नहीं हुई. जानकारी के अनुसार पिछले साल प्रशासन से मात्र दस हजार की मदद पेश कर खानापूर्ति कर दी गई, लेकिन उसके बाद फिर आगे कोई मदद नहीं मिली.More Related News